नारी की यात्रा और सफलता

रत्ना बापुलीलखनऊ (उत्तरप्रदेश)***************************************** नारी मर्यादा बलिदान और हौंसले की मूरत... 'नारी' शब्द की व्याख्या अनेक लोगों ने अपने-अपने से की है, अतः जिस शब्द की उत्पत्ति ही अनेक विसंगतियों से…

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भरोसा उठता जा रहा है मानव से

डॉ.अरविन्द जैनभोपाल(मध्यप्रदेश)***************************************************** जब से भौतिक विकास ने पश्चिमी सभ्यता की राह पकड़ी, तब से मानवता छिन्न-भिन्न हो रही है। मनुष्यों ने पढ़ाई- लिखाई, भवन, फैक्टरियों, भौतिक सुख-साधनों को बढ़ाया, तब…

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राजनीति:दुर्दशा से कैसे उन्नति पाए देश ?

शशि दीपक कपूरमुंबई (महाराष्ट्र)************************************* भारत में राजनीति की हालत क्या हो गई है ? नगर-नगर, प्रदेश-प्रदेश में कुछ-कुछ पड़ोसी देशों जैसी, कुछ-कुछ एशियन जैसी और कुछ-कुछ यूरोपीय जैसी। भारत में…

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हर दिन हर समाज करे नारी का सम्मान

प्रो. लक्ष्मी यादवमुम्बई (महाराष्ट्र)**************************************** नारी :मर्यादा बलिदान और हौंसले की मूरत... भारत देश आज भी पुरुष प्रधान देश माना जाता है। हजारों वर्षों से नारी का शोषण होता आया है।…

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‘म’ का उच्चारण भी ‘न’ करना‌ कैसे सही ?

वैश्विक ई-संगोष्ठी:देवनागरी लिपि और मानकीकरण... डॉ. उदय कुमार सिंह (सेवानिवृत्त राजभाषा अधिकारी)⤵ मानकीकरण तो सरकार ने किया है तो सरकारी तंत्र उसे माने! ऐसा करने का उद्देश्य‌ सुकरता‌ लाना था,…

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अनेक वीरांगनाओं ने किया देश का मस्तक ऊँचा

संजय वर्मा ‘दृष्टि’ मनावर(मध्यप्रदेश)**************************************** नारी:मर्यादा,बलिदान और होंसले की मूरत... देश के अलग-अलग प्रान्तों में जन्मे वीरों ने आजादी की प्राप्ति में अपनी-अपनी भूमिका निभाई थी। उन नामों में एक जानकारी के…

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हमारे नेता स्वभाषा-पतन के दूरगामी खतरों से अनभिज्ञ

डॉ.वेदप्रताप वैदिकगुड़गांव (दिल्ली) ******************************************* हमारे राजस्थान और उत्तरप्रदेश में अंग्रेजी माध्यम के विद्यालयों की बाढ़ आ रही है, लेकिन ज़रा रूस की तरफ देखें। रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने एक…

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होली:नफरत को प्यार में बदलने का रंग-पर्व

ललित गर्गदिल्ली************************************** जीवन और रंग... बदलती युग-सोच एवं जीवनशैली से होली त्यौहार के रंग भले ही फीके पड़े हैं या मेरे-तेरे की भावना, भागदौड़, स्वार्थ एवं संकीर्णता से होली की…

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होली:जोश में होश न खोएं

डॉ.अरविन्द जैनभोपाल(मध्यप्रदेश)***************************************************** त्यौहार मनाना जरुरी है और वह भी उत्साह से। वैसे मंहगाई और आधुनिकता के कारण त्यौहार एक प्रकार की औपचारिकता बनती जा रही है, पर त्योहारों की वैज्ञानिकता…

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परम्परा और संस्कृति का रंग खेलें

प्रो. लक्ष्मी यादवमुम्बई (महाराष्ट्र)**************************************** जीवन और रंग... जीवन में रंग का होना बहुत जरूरी है। रंग खुशी और आनंद का प्रतीक है, जो हर एक मनुष्य अपने जीवन में उतारना…

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