वार्षिकोत्सव..
हैदराबाद (तेलंगाना)।
सभा में आकर बहुत प्रसन्नता हुई। हिन्दी प्रचार सभा हैदराबाद ९० वर्षों से निरन्तर हिन्दी का प्रचार-प्रसार कर रही है। इसी तरह प्रचार-प्रसार करना आवश्यकता है। यह बहुत ही सराहनीय कार्य कर रहे हैं। हृदय से बधाई। इसी तरह प्रचार-प्रसार करते रहें। पूर्वांचल प्रदेश में भी हिन्दी का प्रचार-प्रसार हो रहा है। वहॉं के बच्चे हिन्दी लिखना-पढ़ना जानते हैं। आदिवासी परिवार भी हिन्दी बोलना जानते हैं। आजकल ‘इंटरनेट’ युग में सोशल मीडिया, सेल फोन आदि के रहते गॉंव-गाँव तक हिंदी पहुँच चुकी है।
मुख्य अतिथि राज्यपाल जिष्णु देव वर्मा (तेलंगाना) ने यह बात हिन्दी प्रचार सभा (हैदराबाद) के ९०वें वार्षिकोत्सव समारोह में कही। समारोह धूमधाम से मनाया गया। सभागृह में मुख्य अतिथि की उपस्थिति में सर्वप्रथम दीप प्रज्वलन से कार्यक्रम का शुभारम्भ हुआ। राज्यपाल ने विभिन्न प्रांतों से आए हिन्दी सेवियों का सम्मान व सभा द्वारा आयोजित विविध प्रतियोगिताओं के विजेताओं को पुरस्कार व प्रमाण-पत्र देकर सम्मानित किया।
सभा के अध्यक्ष प्रो. चन्द्रदेव ने अध्यक्षीय भाषण में सभी का अभिवादन करते हुए कहा कि युगादी पर्व के दिन १९३५ में हिन्दी प्रचार सभा हैदराबाद की स्थापना की गई। प्रधानमंत्री एस. गैबुवली ने मुख्य अतिथि का परिचय देते हुए कहा कि वे बहुत ही विनम्र और बहुमुखी प्रतिभाशाली व्यक्ति है। केंद्रीय हिन्दी निदेशालय (दिल्ली) के केन्द्रीय हिन्दी संस्थान (आगरा) के निदेशक प्रो. सुनील बाबूराव कुलकर्णी ने सभा के कार्य-कलाप देख कर बहुत प्रसन्नता व्यक्त की। प्रो. कुलकर्णी ने शताब्दी की ओर अग्रसर सभा के लिए हृदय से सभी को आभार कहा।
कार्यक्रम में सैकड़ों अध्यापक, प्राध्यापक, केन्द्र व्यवस्थापक, प्रचारक एवं हिन्दी प्रेमियों आदि ने उपस्थित होकर सहयोग दिया।
संचालन श्रीमती सुषमा देवी ने किया। धन्यवाद ज्ञापन श्रीमती विभा भारती ने दिया। राष्ट्रीय गीत से कार्यक्रम का समापन किया गया।