अजय जैन ‘विकल्प’
इंदौर(मध्यप्रदेश)
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‘नेताजी’,
भूलना नहीं
हिन्दुस्तान की शान,
हर बूँद
बलिदान।
‘नेताजी’,
सबके प्यारे
सबको किया मुरीद,
जुड़े फ़ौज
शहीद।
‘नेताजी’,
गाथा महान
छोड़ा सकल जहान,
देश प्यारा
हिन्दुस्तान।
‘नेताजी’,
व्यक्तित्व प्रचंड
न डरे दुश्मन
भावना अखंड
देश।
‘नेताजी’,
आज जरूरत
बदलना बहुत कुछ,
मानसिक गुलामी
आजादी।
‘नेताजी’,
पहला धर्म
मान भारत का
पहला कर्म
राष्ट्रीयता।
‘नेताजी’,
राष्ट्र प्रहरी
सुभाष चंद्र बोस,
माँ भारती
लाड़ला।
‘नेताजी’,
भारत जन्में
कोख कर्ज चुकाया
पुनर्जन्म नहीं
विडम्बना।
‘नेताजी’,
विराट दृष्टि
अखंड सीमा पक्षधर,
नहीं झुके
राष्ट्रनायक।
‘नेताजी’,
रक्त बलिदान
नहीं भुला सकते।
फिर चाहिए,
सुभाष॥