माँ ब्रह्मचारिणी परेशानी हरो
अजय जैन ‘विकल्प’इंदौर(मध्यप्रदेश)****************************************** ‘ब्रह्मचारिणी’,तप ज्योतिध्यान का रूप,सत्य धूपसृष्टि। ‘ब्रह्मचारिणी’,संयम-साधनासृष्टि की मूरत,एकाग्रता शक्तिविश्वास। ‘ब्रह्मचारिणी’,नियम-ध्यानभक्ति हो तुम,निरंतर तपपहचान। ‘ब्रह्मचारिणी’,कठिन राहेंतुम्हारा आशीर्वाद उजियारा,तप फलसीख। ‘ब्रह्मचारिणी’,जीवन संघर्षमाँ परेशानी हरो,धैर्य टूटताश्रद्धा॥