तोहफ़ा है मित्रता
सीमा जैन ‘निसर्ग’खड़गपुर (प.बंगाल)********************************* मित्रता-ज़िन्दगी… सबसे कहाँ मन मिलते हैं ?सबसे ही दिन बहलते हैंतक़दीर से ये ख़्वाब पलते हैं,मुश्किल से मित्र मिलते हैं। दूरियाँ कम कर देते हैं,हिम्मत बढ़ा देते हैंवक्त बहुत चुराते हैं,मुश्किल से मित्र मिलते हैं। मधुर हवा का झोंका है,मित्रता प्रभु का तोहफ़ा हैजीने की उमंग जगाते हैं,मुश्किल से मित्र मिलते … Read more