शरद का अंत ‘बसंत’

एस.के.कपूर ‘श्री हंस’बरेली(उत्तरप्रदेश)********************************* बसंत पंचमी विशेष…. शरद ऋतु तुमको प्रणाम,खुमारी-सी छाने लगी है,लगता ऋतुराज़ बसंत की,रुत अब कहींआने लगी है।माँ सरस्वती का आशीर्वाद,अब पाना है हम सबको-मन पतंग भी अब खुशियों के,हिलोरे खाने लगी है॥ पत्ता-पत्ता,बूटा-बूटा अब,खिला-खिला-सा तकता है,धवल रश्मि किरणों-सा,सूरज जैसे अब जगता है।मौसम चक्र में मनभावन,परिवर्तन अब आया जैसे-ऋतुराज बसन्त का अवसर,अब आया-सा … Read more

रच डाला इतिहास नव

प्रो.डॉ. शरद नारायण खरेमंडला(मध्यप्रदेश) ******************************************* तीन रंग की चुनरी,जननी की पहचान,हिमगिरि कहता है खड़ा,मैं हूँ तेरी शान।केसरिया बाना पहन,खड़े हज़ारों वीर-अधरों पर जयहिंद है,जन-गण-मन का गान॥ अमर जवाँ इस देश के,भरते हैं हुंकार,आया जो इस ओर यदि,देंगे उसको मार।रच डाला इतिहास नव,लेकर कर शमशीर-दुश्मन का हमने किया,हर युग में संहार॥ परिचय–प्रो.(डॉ.)शरद नारायण खरे का वर्तमान … Read more

बस एक बार ही किरदार

एस.के.कपूर ‘श्री हंस’बरेली(उत्तरप्रदेश)********************************* अदा करो शुकराना सौ बार जिंदगी का,करो पूरे तुम हर सरोकार जिंदगी का।प्रभु की दी हुई अनमोल नियामत जिंदगी-मोहब्बत बना लो कारोबार जिंदगी का॥ कभी बिगड़े न बोल व्यवहार जिंदगी का,तेरे शब्दों पर टिका आधार जिंदगी का।धैर्य बुद्धि विवेक का साथ कभी न छोड़ना-इनसे होता है सच्चा श्रृंगार जिंदगी का॥ कभी मत … Read more

वीरों ने दिया नवल विहान

प्रो.डॉ. शरद नारायण खरेमंडला(मध्यप्रदेश) ******************************************* भगतसिंह,आज़ाद का,अमर सदा बलिदान,ऐसे पूतों ने रखी,भारत माँ की आन।जो भारत का कर गए,सचमुच चोखा भाग्य-ऐसे वीरों ने दिया,हमको नवल विहान॥ जय-जय भारत देश हो,बढ़े तुम्हारा मान,सारे जग में श्रेष्ठ है,कदम-कदम उत्थान।धर्म,नीति,शिक्षा प्रखर,बाँटा सबको ज्ञान-भारत की अभिवंदना,दमके सूर्य समान॥ परिचय–प्रो.(डॉ.)शरद नारायण खरे का वर्तमान बसेरा मंडला(मप्र) में है,जबकि स्थायी निवास … Read more

अलौकिक भारत देश

रीता अरोड़ा ‘जय हिन्द हाथरसी’दिल्ली(भारत)************************************************ गणतंत्र‌ दिवस विशेष…. हाँ,सचमुच हम महान हैं,हमसे सारा जहान है।भारतमाता की संतान हैं-तिरंगे का करते मान हैं॥ ‘अलौकिक भारत देश’ है,सर्वधर्म एकता परिवेश है।अनुज न कोई ज्येष्ठ है-हिन्दी भाषी हम विशेष हैं॥ हमने दुनिया को संस्कार दिए,मीठी बोली व्यवहार दिए।नये-नये आविष्कार किए-सबके सपन साकार किए॥ मानवधर्म की मिसाल हैं,भारत देश … Read more

देशभक्ति

प्रो.डॉ. शरद नारायण खरेमंडला(मध्यप्रदेश) ******************************************* गाता है मन आज तो,शुभ-मंगल के गीत,दिवस बहुत यह भा रहा,बाँट रहा उर प्रीत।भारत के गणतंत्र की,सकल विश्व में शान-आओ,हम ‘जयहिंद’ कह,हों हर्षित मनमीत॥ भारत माँ का लाल हूँ,दे सकता मैं जान,गाता हूँ मन-प्राण से,मैं इसका यशगान।आर्यभूमि जगमग धरा,बाँट रही उजियार-इसकी गरिमा,शान पर,मैं हर पल क़ुर्बान॥ परिचय–प्रो.(डॉ.)शरद नारायण खरे का … Read more

वर्ष का प्रथम पर्व

एस.के.कपूर ‘श्री हंस’बरेली(उत्तरप्रदेश)********************************* जीवन के रंग (मकर संक्रांति विशेष)…. सूर्य का उत्तरायण में और होता मकरराशि में प्रवेश,खिचड़ी,मक्का,तिल,गुड़ और मूंगफली का इसमें समावेश।पतंगबाजी के पेंचों का बहुत,महत्व मकर संक्रांति में-बसंत आगमन ऋतु परिवर्तन का,समाहित इसमें गणवेश॥ विभिन्न स्थानों प्रदेशों में पर्व के,भिन्न-भिन्न हैं नाम,लोहड़ी बिहू पोंगल उत्तरायण,नामकरण हैं तमाम।खिचड़ी सहभोज व दान का है,विशेष महत्व … Read more

बेटी-इक मूरत

डॉ.धारा बल्लभ पाण्डेय’आलोक’अल्मोड़ा(उत्तराखंड) *************************************** बेटी तुम घर मंदिर की इक मूरत हो,तुम्हीं जगत में धरती माँ की सूरत हो।तुम्ही धरा पर शक्ति सृजन की उत्सृजक-तुम्हीं सृष्टि में सृजन प्रेम की मूरत हो॥ बेटी ही जग की पावन उपहार है,बेटी ही माँ बन देती सब प्यार है।बेटी घर की दीप उसी से ज्योति है-उसी ज्योति में … Read more

पंछी उड़ने लगा

मदन गोपाल शाक्य ‘प्रकाश’फर्रुखाबाद (उत्तर प्रदेश)************************************** जन्म तेरा हुआ,मात की गोद में,तू रोता रहा था,मात की गोद में।पहला निवाला,मिला जो फिया-खेल करने लगा,मात की गोद में॥ बोध बढ़ने लगा,ध्यान करने लगा,सार संसार का,निक लगने लगा।तब देखा जमाना,खुले जब पलक-जाल संसार में है,तू फँसने लगा॥ हाथ हिलने लगे,पैर डुलने लगे,बड़ी मन में खुशी,जो अनोखी लगे।सुख वैभव … Read more

जरा चिराग बनकर देखो

एस.के.कपूर ‘श्री हंस’बरेली(उत्तरप्रदेश)********************************* किसी के अंधेरे का चिराग बन कर देखिए,किसी की आँखों का ख्वाब बन कर देखिए।दर्द दूसरों का भी अपनाकर जरा देखो-किसी मुश्किल का जवाब बन कर देखिए॥ गिरते हुए को जरा संभाल कर देखो तुम,अपनी नज़र के जरा पार भी देखो तुम।हाथ बढ़ाओगे तो आँसुओं में मुस्कान मिलेगी-किसी का दर्द लेकर जरा … Read more