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चरित्र बल

सुश्री नमिता दुबे
इंदौर(मध्यप्रदेश)
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शहर के बड़े कालेज में भौतिकी विषय के व्याख्याता पद हेतु छोटे से गाँव के अमन ने भी आवेदन किया था। ३ पद के लिए लगभग ४५ उम्मीदवार आए थे। एक-एक कर सभी के साक्षात्कार के बाद ३ उम्मीदवारों का चयन कर लिया गया था। सभी उम्मीदवार जा चुके थे,किन्तु अमन अभी भी बहुत दुखी मन से कॉरिडोर में ही चहलकदमी कर रहा था,तभी चयन समिति के अध्यक्ष डॉ. अग्रवाल बाहर आएl अमन को अभी भी बाहर पाकर लगभग झिड़की देते हुए कहा कि-“तुम्हारा चयन नहीं हुआ है,फिर तुम यहा क्यों रुके हो ?” अमन ने सहमते हुए जवाब दिया-“सर,में शर्मा बाबूजी का इंतजार कर रहा हूँl उन्होंने गलती से टी.ए. बिल में दुगनी राशि दे दी हैl मैं वही लौटाने के लिए रुका हूँ।”
डॉ. अग्रवाल तुरन्त अंदर गए और सभी की सहमति से एक कागज के साथ बाहर आएl वह पत्र अमन को थमाते हुए कहा कि-” तुम्हारा चयन किया जा चुका है,तुम चरित्रवान हो। पढ़ाने में कहीं भी मुश्किल आए तो मुझसे समझ लेना,क्योंकि ज्ञान तो पढ़ाकर प्राप्त किया जा सकता है,परंतु ऐसा चरित्र मैं कैसे निर्मित कर सकूंगा।”

परिचय : सुश्री नमिता दुबे का जन्म ग्वालियर में ९ जून १९६६ को हुआ। आप एम.फिल.(भूगोल) तथा बी.एड. करने के बाद १९९० से वर्तमान तक शिक्षण कार्य में संलग्न हैं। आपका सपना सिविल सेवा में जाना था,इसलिए बेमन से शिक्षक पद ग्रहण किया,किन्तु इस क्षेत्र में आने पर साधनहीन विद्यार्थियों को सही शिक्षा और उचित मार्गदर्शन देकर जो ख़ुशी तथा मानसिक संतुष्टि मिली,उसने जीवन के मायने ही बदल दिए। सुश्री दुबे का निवास इंदौर में केसरबाग मार्ग पर है। आप कई वर्ष से निशक्त और बालिका शिक्षा पर कार्य कर रही हैं। वर्तमान में भी आप बस्ती की गरीब महिलाओं को शिक्षित करने एवं स्वच्छ और ससम्मान जीवन जीने के लिए प्रोत्साहित कर रही हैं। २०१६ में आपको ज्ञान प्रेम एजुकेशन एन्ड सोशल डेवलपमेंट सोसायटी द्वारा `नई शिक्षा नीति-एक पहल-कुशल एवं कौशल भारत की ओर` विषय पर दिए गए श्रेष्ठ सुझावों हेतु मध्यप्रदेश के उच्च शिक्षा और कौशल मंत्री दीपक जोशी द्वारा सम्मानित किया गया है। इसके अलावा श्रेष्ठ शिक्षण हेतु रोटरी क्लब,नगर निगम एवं शासकीय अधिकारी-कर्मचारी संगठन द्वारा भी पुरस्कृत किया गया है।  लेखन की बात की जाए तो शौकिया लेखन तो काफी समय से कर रही थीं,पर कुछ समय से अखबारों-पत्रिकाओं में भी लेख-कविताएं निरंतर प्रकाशित हो रही है। आपको सितम्बर २०१७ में श्रेष्ठ लेखन हेतु दैनिक अखबार द्वारा राज्य स्तरीय सम्मान से नवाजा गया है। आपकी नजर में लेखन का उदेश्य मन के भावों को सब तक पहुंचाकर सामाजिक चेतना लाना और हिंदी भाषा को फैलाना है।

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