बीते समय की बात

संजय वर्मा ‘दृष्टि’ मनावर(मध्यप्रदेश)**************************************** बीते समय की बात काख्याल आया,तुम चलातीसायकल तुम्हारी खुद की,मैं किराए की चलाताप्रेम में अमीर दिखाने को रौब,झूठा था मगर प्रेम सच्चा। तुम खिड़कियों,छत से भीमेरा मन…

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बारिश का मौसम

सरोजिनी चौधरीजबलपुर (मध्यप्रदेश)************************************** मन के अंदर खिलते मधुबन,कभी मंद कभी तेज़ हवा मेंले जाते वे हौले-हौले,बीते समय के गलियारों में। धीरे-धीरे कहता कोई,नयन क्यों मूँदे मेरे प्यारेमौसम वही, वही है…

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घर्राते बादल

हेमराज ठाकुरमंडी (हिमाचल प्रदेश)***************************************** हृदय क्षितिज में घर्राते बादल,गर्जना छोड़, बरसात बरसातृषित धारा के रोम-रोम की,आज प्रिये तू, प्यास बुझा। सुकून मिले अब विरहिणी को,और न इसको यूँ ही तड़पासोया…

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संध्या की बेला

कमलेश वर्मा ‘कोमल’अलवर (राजस्थान)************************************* जब संध्या की बेला आई,उड़ चले खग नीड़ों की ओर। पंक्तिबद्ध होकर चले सब पंछी,अपने-अपने नीड़ों की ओर। भर गया आसमां सब पंछियों से,चहचहाना जारी रहा…

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मतलब नहीं होगा

ताराचन्द वर्मा ‘डाबला’अलवर(राजस्थान)*************************************** मर्म को लगे शब्दों से,जब अन्तर्मन झकझोर उठा होतब हँस-हँस कर बतलाने का,कोई मतलब नहीं होगा। मन के भावों के बिना,घर का आँगन सूना हो जाएतो बिन…

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चलने का नाम ही जीवन

राजू महतो ‘राजूराज झारखण्डी’धनबाद (झारखण्ड) ****************************************** जीवन चलने का नाम है,चलते रहना इसका काम हैसुबह, दोपहर या शाम हो,आगे बढ़ने का ही काम हो। बूढ़ा हो या फिर जवान,पशु, पक्षी या…

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दिल है दीवाना…

हरिहर सिंह चौहानइन्दौर (मध्यप्रदेश )************************************ मौसम हो गया सुहाना,अब आ जाओ,क्योंकि यह दिल है दिवानारिमझिम बारिश की फुहारों में,मन मचलता हैमयूर नाचता है,क्योंकि यह दिल है दीवाना। कुहू-कुहू कोयल बोलती…

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तेरी तस्वीर

दिनेश चन्द्र प्रसाद ‘दीनेश’कलकत्ता (पश्चिम बंगाल)******************************************* तेरी तस्वीर देखकर,सुकून मिल जाता हैसामने देखने पर,न जाने क्या होगा ? मिल जाओ जब तुम,मेरी बाँहों में रहो तुमनहीं चाहिए तुम बिन कुछ,जन्नत…

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ज़िंदगी गम ही रही

डॉ. गायत्री शर्मा’प्रीत’इन्दौर (मध्यप्रदेश )******************************************* ज़िंदगी गम ही रही, खुशियों का अहसास नहीं,कहने को तो साथ पर साथ का आभास नहीं। पल-पल बीते, तो फिर गुजरे कई साल यूँ ही,आया…

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ज्ञान का दीपक

सौ. निशा बुधे झा ‘निशामन’जयपुर (राजस्थान)*********************************************** ज्ञान का दीपक जलाओ,अंधकार को दूर भगाओसत्य की राह पर चलो,मन में सच्चाई जगाओ। अज्ञानी मनुष्य का जीवन,है जैसे रात का अंधेराज्ञान का प्रकाश…

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