प्रेम की बजने लगी शहनाई
सुजीत जायसवाल ‘जीत’कौशाम्बी-प्रयागराज (उत्तरप्रदेश)******************************************* निर्दयी ‘कोरोना’ रूप विकट चहुँ दिशि दिखे उत्पात,लॅाकडाउन है दुःख,कृन्दन अब मानव तन पर आघातमैं पूर्व भ्रमण स्मृतियों में डूबा हुआ था आज,हे गिरिधर यशोदा नंदन कर सुख- शांति का प्रभात। भ्रमण को मुझको शौक बड़ा गया था हरिद्वार,मसूरी,रशियन के संग हो छवि मेरी,इच्छा हो गई तब पूरीअंदाज निराला था उसका … Read more