वक़्त की नजाकत
ताराचन्द वर्मा ‘डाबला’अलवर(राजस्थान)*************************************** सम्भल जाइए ऐ हुजूर,पहचानिए वक्त की नजाकत कोखुदा कसम टिक न पाओगे,आईने के सामने। बयां करेगा हर वो लम्हा,अय्याशी में जो तूने गुजारेऐसा तूफान आएगा जीवन मेंबेनकाब…