विनाश की ओर कदम

एस.के.कपूर ‘श्री हंस’बरेली(उत्तरप्रदेश)********************************* पर्यावरण दिवस विशेष…… नदी-ताल में कम हो रहा जल,और हम पानी यूँ ही बहा रहे हैं,ग्लेशियर पिघल रहे और समुन्द्र तल यूँ ही बढ़ते ही जा रहे हैं।काट कर सारे वन,कांक्रीट के कई जंगल बसा दिये विकास ने-अनायस ही विनाश की ओर कदम दुनिया के चले ही जा रहे हैं॥ पॉलीथिन के … Read more

वृक्ष अवश्य ही लगाना

श्रीमती देवंती देवीधनबाद (झारखंड)******************************************* पर्यावरण दिवस विशेष…….. पर्यावरण की बातें मैं,आज आपको बताती हूँपर्यावरण से क्या फायदा,मित्रों,आपको दिखलाती हूँ। वातावरण से सभी समाज,पास-पड़ोस साफ-सुथरा होहर गली-मोहल्ले इत्यादि,शुद्ध हो तो बीमारी से मुक्त हो। शुद्ध वातावरण के लिए,वृक्ष अवश्य ही लगाना हैशुद्ध हवा से मनुष्यों को,निरोगी जीवन बिताना है। पर्यावरण का अधिक से अधिक,ध्यान रखना चाहिएछोटे … Read more

कराहती पृथ्वी

नमिता घोषबिलासपुर (छत्तीसगढ़)**************************************** विश्व पर्यावरण दिवस विशेष…. ‘विश्व पर्यावरण दिवस’ की स्थापना ५ जून १९७२ में संयुक्त राष्ट्र संघ की सभा द्वारा स्टॉकहोम में ‘मानव पर्यावरण’ विषय पर आयोजित सम्मेलन में हुई थी। इसे विश्व स्तर पर प्रतिवर्ष पर्यावरण के प्रति जागरूकता बढ़ाने एवं पर्यावरण संरक्षण की गति निर्धारित करने हेतु मनाया जाता है। आज … Read more

बाबूजी की सायकल

ममता तिवारीजांजगीर-चाम्पा(छत्तीसगढ़)************************************** मेरे पिता जी की साईकल स्पर्धा विशेष….. लम्बी दौड़ लगाती थी,थकती-न थकाती थीबाबूजी की सायकल,हमको बहुत भाती थी। बिन खर्चे चलती रहती,हृदय चाप सही रखतीजिम बिना व्यायाम थे,बोल बिना बातें करती। दुर्घटना वह दूर रखती,गिर जाए थोड़ी लगतीपर्यावरण सच्ची साथी,भारी बोझ भी न डिगती। जिंदगी जब रुलाती थी,डॉक्टर वो बैठा लाती थीहैंडल में … Read more

उनका मान-सम्मान,स्वाभिमान थी साइकिल

सुरेन्द्र सिंह राजपूत हमसफ़रदेवास (मध्यप्रदेश)****************************************** मेरे पिता जी की साईकल स्पर्धा विशेष….. दोस्तों,आधुनिक युग में बहुत बड़े-बड़े परिवर्तन हुए हैं,आज से तीस- चालीस साल पहले की हम बात करें तो उस समय की जीवनशैली और आज की जीवनशैली में बहुत बड़ा परिवर्तन आया है। यह नहीं कहता कि समाज और देश तरक़्क़ी न करे, ख़ूब तरक़्क़ी … Read more

आँगन में उदास है खड़ी

डॉ. प्रताप मोहन ‘भारतीय’सोलन(हिमाचल प्रदेश)************************************** मेरे पिता जी की साईकल स्पर्धा विशेष….. बचपन की स्मृतियां,दिमाग में अभी भी है शेषबाबूजी की साईकिल है,मेरे लिए विशेष। जब भी बाबूजी,दुकान से घर आतेअपनी साईकिल पर हमें,सवारी जरूर कराते। उस जमाने में साईकिल,सबके पास नहीं होती थीजिनके पास होती थी साईकिल,उनकी गिनती खास में होती थी। बहुत अच्छा … Read more

जीवन तो बस पेड़ जहाँ है

आशा आजाद`कृति`कोरबा (छत्तीसगढ़) ******************************************* पर्यावरण दिवस विशेष….. आक्सीजन की मारा मारी। जीवन पर पड़ता है भारी।मानुष का नित रोना-धोना। दुश्मन बनता ये कोरोना॥ लोभ मोह निज हृदय बसाता। वृक्ष काटकर सुख को पाता।उजड़े देखो जंगल झाड़ी। कौन लगाता है अब बाड़ी॥ जीवन तो बस पेड़ जहाँ है। आक्सीजन बस मिले वहाँ है।आज सबक जन को … Read more

ठूंठ हो जाएगा शहर

डॉ.शैल चन्द्राधमतरी(छत्तीसगढ़)**************************************** पर्यावरण दिवस विशेष….. कटते वृक्ष,ठूंठ होते जंगल,चहुँओर हो रहा अमंगल। बंजर धरा सिसकती रोती,हरीतिमा का बाट जोहती। हरे-भरे सुन्दर वन,महकाते थे जीवन,बिखरा जाते थे पल भर में चंदन। सौरभ सुगन्ध से पुलकित होती थी धरा,हर किसी का जीवन था खुशियों भरा। जल-जंगल-जमीन सिमट गई है आज,जो मानव के थे सिर के ताज। समय … Read more

तितली का संदेश

राजबाला शर्मा ‘दीप’अजमेर(राजस्थान)******************************************* पर्यावरण दिवस विशेष…. तितली रानी,तितली रानी,क्यों जल्दी उठती हो ?सुबह-सवेरे झोला लेकर,कहां निकलती हो ?आँखों पे चश्मा,मुँह पर मास्क,क्यों पहनती हो ?सुबह सवेरे झोला लेकरकहां निकलती हो…? तितली बोली-दुखी कर दियाहै इन्सानों ने।काट दिए हैं जंगल सारेइन नादानों ने।झोले में पौधे ले जाकर,उन्हें लगाती हूँ।सुबह-सवेरे झोला लेकर,इसलिए निकलती हूँ। कांक्रीट के भवन … Read more

आओ सब मिल करें निवारण

अमल श्रीवास्तव बिलासपुर(छत्तीसगढ़) *********************************** पर्यावरण दिवस विशेष…. कल-कल करते,झरते झरने,कितना मन को भाते हैं।कलरव करते नभ में पक्षी,सुन्दर तान सुनाते हैं॥ कितनी धरा मनोरम लगती,इंद्रधनुष के बनने से,मिट्टी की खुशबू प्रिय लगती,रिमझिम बूँदें गिरने से॥ मस्त पवन के झोंके देखो,कैसे बहते जाते हैं।फूलों के रस को पीने को,कितने भौंरे आते हैं॥ लेकिन धीरे-धीरे यह,मादकता है घटती … Read more