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यह दिन समर्पित है भारत के वीर जवानों को

अंतुलता वर्मा ‘अन्नू’ 
भोपाल (मध्यप्रदेश)
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कारगिल विजय दिवस स्पर्धा विशेष……….

यह दिन समर्पित है भारत के वीर जवानों को…
जिन्होंने ‘कारगिल युद्ध’ को सफल बनाया,
कारगिल की चोटी पर तिरंगा लहराया
उन देशभक्तों के संघर्ष को याद करने का…,
उन्हें श्रद्धा-सुमन अर्पण करने का…l

यह दिन समर्पित है भारत के वीर जवानों को…
जिन्होंने स्वतंत्रता के लिए अपने रक्त को बहाया था,
भारत भूमि को घुसपैठियों से मुक्त कराया था
जो आतुर थे मातृभूमि की रक्षा करने को,
हँसते-हँसते वतन पर मर-मिटने को…l

यह दिन समर्पित है भारत के वीर जवानों को…
जिन्होंने दुश्मन का सीना किया था छन्नी,
नाकामयाब किया था उनकी सब चालों को
आंधी हो या हो तूफां,जो दुश्मन से जा टकराया था,
जिसने मातृभूमि से दुश्मन को मार भगाया था…l

यह दिन समर्पित है भारत के वीर जवानों को…
जिन्होंने स्वंतत्रता का मूल्य,
अपने प्राणों से चुकाया था
हिमालय से ऊँचा था साहस उनका,
जो वतन के लिये सीने पर गोलियां खाता था…l

यह दिन समर्पित है भारत के वीर जवानों को…
जिन्होंने तिरंगे की रक्षा की सौगन्ध खाई थी,
वादा किया था अपनो से वापस लौट आने का
मगर उनके लौट आने का अन्दाज निराला था,
वे लौटे मगर तिरंगे में लिपटे हुए…l

यह दिन समर्पित है भारत के वीर जवानों को…
जिन्होंने अपना जीवन हमारे लिए बलिदान कर दिया,
जो देश पर बलिदान गये,
इन बलिदानी वीरों से लिपटकर
तिरंगा भी उनकी गौरव गाथा गाता था…l

यह दिन समर्पित है भारत के वीर जवानों को…
जिन्होंने शत्रुओं को ढेर किया था,
शत्-शत् नमन ऐसे पहरेदारों को
ऐसे वीरों का साहस,बलिदान,
युगों-युगों तक अमर रहेगा…l
जय हिंद की सेनाll

परिचय-श्रीमती अंतुलता वर्मा का साहित्यिक उपनाम ‘अन्नू’ है। ११ मई १९८२ को विदिशा में जन्मीं अन्नू वर्तमान में करोंद (भोपाल)में स्थाई रुप से बसी हुई हैं। हिंदी,अंग्रेजी और गुजराती भाषा का ज्ञान रखने वाली मध्यप्रदेश की वासी श्रीमती वर्मा ने एम.ए.(हिंदी साहित्य),डी.एड. एवं बी.एड. की शिक्षा प्राप्त की है।आपका कार्यक्षेत्र-नौकरी (शास. सहायक शिक्षक)है। सामाजिक गतिविधि में आप सक्रिय एवं समाजसेवी संस्थानों में सहभागिता रखती हैं। लेखन विधा-काव्य,लघुकथा एवं लेख है। अध्यनरत समय में कविता लेखन में कई बार प्रथम स्थान प्राप्त कर चुकी अन्नू सोशल मीडिया पर भी लेखन करती हैं। इनकी विशेष उपलब्धि-चित्रकला एवं हस्तशिल्प क्षेत्र में कई बार पुरस्कृत होना है। अन्नू की लेखनी का उद्देश्य-मन की संतुष्टि,सामाजिक जागरूकता व चेतना का विकास करना है। पसंदीदा हिन्दी लेखक-महादेवी वर्मा,मैथिलीशरण गुप्त, सुमित्रा नन्दन पंत,सुभद्राकुमारी चौहान एवं मुंशी प्रेमचंद हैं। प्रेरणा पुंज -महिला विकास एवं महिला सशक्तिकरण है। विशेषज्ञता-चित्रकला एवं हस्तशिल्प में बहुत रुचि है। देश और हिंदी भाषा के प्रति विचार-“हमारे देश में अलग-अलग भाषाएं बोली जाती है,परंतु हिंदी एकमात्र ऐसी भाषा है जो देश के अधिकांश हिस्सों में बोली जाती है,इसलिए इसे राष्ट्रभाषा माना जाता है,पर अधिकृत दर्जा नहीं दिया गया है। अच्छे साहित्य की रचना राष्ट्रभाषा से ही होती है। हमें अपने राष्ट्र एवं राष्ट्रीय भाषा पर गर्व है।

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