दर्द सहता है
हीरा सिंह चाहिल ‘बिल्ले’बिलासपुर (छत्तीसगढ़) ********************************************* दिल में जज्बात यही दर्द सभी सहता है।कुछ बयां हो न सके चुप ये तभी रहता है। आह भरता है मगर कुछ न कभी कह पाता,दर्द ऑंखों में सदा, दिल ही छुपा रखता है। दिल समझने के लिए उम्र गुज़र कर जाती,दर खुदाई का इसे तब ही जहां कहता … Read more