ऐ भारत के वीर सपूत

डॉ. विद्या ‘सौम्य’प्रयागराज (उत्तर प्रदेश)************************************************ शूरवीर भारतीय सेना (विजय दिवस विशेष)… नमन है अश्रुपूरित नयनों से, ऐ भारत के शूरवीर,तेरी अमर शहादत पर, रोता अम्बर, नदियों का नीर। आज ‘विजय दिवस’ की बेला में, धरती भी हर्षाई है,शौर्य-सूर्य की किरणें देखो, हर दिशा में छाई हैंतूने लहू से सींची माटी, जो चंदन-सा महक रहा है,तेरे … Read more

बचपन के खिलौने

डॉ. गायत्री शर्मा ’प्रीत’इन्दौर (मध्यप्रदेश )******************************************* खिलौने होते हैं अनमोल,लंबे-लंबे गोल मटोल। टम-टम गाड़ी सरपट दौड़े,ऊँची छलाँग लगाये घोड़े। मिट्टी के ये पीले शेर,आ जाये तो नहीं है खैर। साइकिल, कार, ऑटो चलता,जिसमें सबका सपना पलता। रंग-बिरंगी सुंदर क्रेन,मुन्ना खेले, नहीं है चैन। प्यारी-प्यारी सुंदर गुड़िया,उड़ने की कोशिश में चिड़िया। ढोल बजाए मोटा सेठ,गाना गाये … Read more

मेक-अप ट्रेन का…

सीमा जैन ‘निसर्ग’खड़गपुर (प.बंगाल)********************************* टेसन पर मैं बैठी सोच रही,हाय, कब आएगी ट्रेन मेरी ?ये क्यों इतना तड़पाती है,जब देखो लेट हो जाती है। किसके कहने पर चलती है,क्या जानकर लेट करती है ?सब कहते हैं चिंता ना करो,मेक-अप बाद में करती है। छह घंटे से लेट है चलती,इतना कितना मेक-अप करती ?इतना मेक-अप तो … Read more

गौरव हमारे सैनिक

दीप्ति खरेमंडला (मध्यप्रदेश)************************************* शूरवीर भारतीय सेना (विजय दिवस विशेष)…. नींद तिरंगे में बसती है,सीमा पर जो सोते नहींहम चैन की नींद ले पाते हैं,क्योंकि जागते हैं वो हर घड़ी। कभी बर्फ पर आशियाना,कभी तपता हुआ रेगिस्तानहर मौसम और हर हाल में,अडिग रहा उनका स्वाभिमान। माँ की ममता घर का आँगन,सपने सुहाने स्नेह का बंधनसब-कुछ पीछे … Read more

घना कुहरा, जीवन ठहरा

आचार्य संजय सिंह ‘चन्दन’धनबाद (झारखंड )****************************************************** एनसीआर-राजधानी में घना था कुहरा धुँध,ठंडे में सन्नाटा पसरा, प्रदूषित ओस की बूँदतेज रफ्तार थे ट्रक, बस, कारें धुंध ने ली थी आँखें मूंद,एक्स्प्रेस-वे पर दुर्घटना हो गई लड़ी गाड़ियाँ अंधाधुंध। राजधानी एक्सप्रेस में मैं बैठा था आँखें हो गई कुंद,शीत लहर से सभी त्रस्त थे, खेल रहे थे … Read more

फिर अपनापन दिखाना भी बेकार

कुमारी ऋतंभरामुजफ्फरपुर (बिहार)************************************************ हर किसी से, बातें करना भी बेकार है।बेकार पास में बैठना भी बेकार है। शब्द से शब्द मिलते नहीं अगर,फिर तो बात बढ़ाना भी बेकार है। जो किसी के दर्द को मिटा ना सके,ऐसा रिश्ता निभाना भी बेकार है। साथ रहकर भी साथ ना समझ सके,फिर तो साथ बैठना भी बेकार है। … Read more

याद में ठहरे लोग

प्रो.डॉ. शरद नारायण खरेमंडला(मध्यप्रदेश)******************************************* साल जा रहा देकर हमको न, याद में ठहरे लोग,भोले-भाले,साथ निभाते, भले-बुरे सब लोग। स्मृतियाँ कुछ मीठी होतीं, तो कुछ कड़वी होतीं,समय बीतता, पर यादों में, अज़ब-निराले लोग। अरमानों में रंग भरे हैं, तो कुछ अति फीके,हाथ मिलाते, नेह निभाते, प्रीति जताते लोग। कर्म-भाग्य ने मिलकर के ही, परिणामों को सौंपा,मित्र … Read more

अनोखा रिश्ता ‘पति-पत्नी’

गोपाल मोहन मिश्रदरभंगा (बिहार)***************************************** पति-पत्नी,एक बनाया गया रिश्तापहले कभी एक-दूसरे को देखा भी नहीं था,फिर सारी ज़िंदगी एक-दूसरे के साथ,पहले अपरिचित,फिर धीरे-धीरे होता परिचय…धीरे-धीरे होने वाला स्पर्श,फिर,नोक-झोंक… झगड़े …. बोलचाल बंद…कभी जिद… कभी अहम का भाव,फिर धीरे-धीरे बनती जाती प्रेम पुष्पों की मालाशर्त ये है कि कोई तीसरा इनके बीच कुचक्र षडयंत्र न रचे,फिर,एकजीवता… तृप्तता… … Read more

भारत के शूरवीर

बबिता कुमावतसीकर (राजस्थान)***************************************** शूरवीर भारतीय सेना (विजय दिवस विशेष)…. “पहले भारत, मैं बाद में”,यह शपथ हर समय दोहराता हैउन शूरवीरों को सलाम,तिरंगा जिनकी पहचान है। जिनकी पूजा है शहादत,जिससे सुरक्षित हिंदुस्तान हैजो हर समय कर्तव्य निभाते,गोली में देशभक्ति गीत सुनते हैं। मिट्टी की खुशबू, माँ ममता छोड़,सीमा पर मुस्कान सजाते हैं।जहां हिम शिखर की छाया … Read more

विजय गाथा

हरिहर सिंह चौहानइन्दौर (मध्यप्रदेश )************************************ शूरवीर भारतीय सेना (विजय दिवस विशेष)… दुश्मनों का आत्मसमर्पण, हमारी सेना की कामयाबी के वह क्षणआज अतीत का वह शौर्य है वही,विजय गाथा बन हमारी नस-नस में दौड़ रहा है। जीत भारत की वह ऐसी थी,पूरी दुनिया जिसे देखती रह गईशहीद हुए हजारों जवान अपने देश पर,वही विजय गाथा, बन … Read more