विश्वास मुश्किल है

कमल किशोर दुबे कमल  भोपाल (मध्यप्रदेश) **************************************************************************** आजकल इन्सान से कुछ आस मुश्किल है। आदमी पर हो गया विश्वास मुश्किल हैl राह काँटों से भरी है,दूर मंज़िल भी, डगमगा जाएँ कदम,आभास…

Comments Off on विश्वास मुश्किल है

सोचें,आज नहीं तो कल

कमल किशोर दुबे कमल  भोपाल (मध्यप्रदेश) **************************************************************************** सोचें आज नहीं तो कल। भाग-दौड़ की इस दुनिया में, कितनी मारा-मारी है। भाग रहा दौलत के पीछे,राजा बना भिखारी है॥ खाना-पीना,सुखमय जीना, दौलत…

Comments Off on सोचें,आज नहीं तो कल

आँसूओं को सिर्फ पानी मत समझिए

कमल किशोर दुबे कमल  भोपाल (मध्यप्रदेश) **************************************************************************** (रचनाशिल्प:बह्र -फ़ाइलातुन×४) मुफ़लिसों के आँसूओं को सिर्फ पानी मत समझिए। बात है ये खास बेशक़ आनी'-जानी मत समझिए। ग़म बहुत,खुशियाँ बहुत कम,साल बीता दे…

Comments Off on आँसूओं को सिर्फ पानी मत समझिए

ये कोई बड़ा-अड़ा दिन नहीं होता…

कमल किशोर दुबे कमल  भोपाल (मध्यप्रदेश) **************************************************************************** ‘बड़े दिन की छुट्टी’ स्पर्धा  विशेष……… आज हमारे पड़ौसी खबरीलाल जी सुबह-सुबह हमारे घर आये। आते ही बोले-"कलमकार,बड़ा दिन मुबारक हो!" मैंने चौंकते हुये…

Comments Off on ये कोई बड़ा-अड़ा दिन नहीं होता…