मजदूर की व्यथा

शिवांकित तिवारी’शिवा’ जबलपुर (मध्यप्रदेश) ******************************************************************** पैदल चलकर नाप रहे ख़ुद सड़कों की लंबाई, भूखे प्यासे बच्चों के संग मज़बूरी में भाई। नंगे सूजे पैर जल रहे, बिना रुके दिन रात चल रहे। भूख की खातिर छोड़ा था घर, गाँव छोड़ आए थे वो शहर। भूख के कारण अब उनकी है पेट से स्वयं लड़ाई, रक्तरंजित … Read more

साहब,मजदूर की चिन्ता कीजिए

शिवांकित तिवारी’शिवा’ जबलपुर (मध्यप्रदेश) ******************************************************************** श्रमिक हमारे समाज की एक ऐसी मजबूत रीढ़ है, जिस पर समस्त आर्थिक उन्नति टिकी होती है जो मानवीय श्रम का सबसे आदर्श उदाहरण है। हमारे सभी प्रकार के क्रियाकलापों की वह सबसे विशेष धुरी होता है जिसके द्वारा हमारे समस्त कार्य पूरे किए जाते हैं। आज के आधुनिकीकरण एवं … Read more

‘हिन्दी’ हमारी जीवनशैली एवं प्यारी माँ

शिवांकित तिवारी’शिवा’ जबलपुर (मध्यप्रदेश) ******************************************************************** हिन्दी सिर्फ भाषा नहीं,बल्कि यह हमारे अल्फाजों को समेट,हमारी बातों को सरलता एवं सुगमता से कहने का विशेष माध्यम है। हिन्दी बिल्कुल हमारी की तरह ही हमसे जुड़ाव रखती है और हम भी माँ हिन्दी के बिना अपने अस्तित्व की कभी कल्पना नहीं कर सकते,क्योंकि माँ के बिना बेटे की … Read more

वक़्त की ठोकर

शिवांकित तिवारी’शिवा’ जबलपुर (मध्यप्रदेश) ******************************************************************** वक़्त की ठोकर का शिकार हुए हैं, तबीयत ठीक है जिनकी अब वो बीमार हुए हैं। चट्टानों से मजबूत हौंसले थे जिनके, वक़्त की मार से अब वो बेकार हुए हैं। हमारे बीच अब तो दोस्ती जैसा कुछ नहीं बचा, कुछ एहसानफरामोश और खुदगर्ज हमारे यार हुए हैं। इंसान यहां … Read more

हिन्दुस्तान है महान

शिवांकित तिवारी’शिवा’ जबलपुर (मध्यप्रदेश) ******************************************************************** शांति का प्रतीक धर्मप्रिय सत्यशील,ऐसा देश है हमारा हिन्दुस्तान, सभी मिल-जुल के रहें,दिल की बात खुल के कहें,मन में तनिक भी नहीं अभिमान। जात और पात की ना करे कोई बात,कद्र करते हम सबके जज्बात की, दु:ख और सुख में भी खड़े रहते साथ,ना करते हम चिंता दिन और रात … Read more

वो अब बहुत गुमान में है

शिवांकित तिवारी’शिवा’ जबलपुर (मध्यप्रदेश) ******************************************************************** नदी अब बहुत गुमान में है, कि वो आजकल उफ़ान में हैl ग़रीब तो आज भी फुटपाथ पर सोते हैं, अमीरजादे तो अंदर अपने मकान में हैंl जमीं से तो उनका रिश्ता ही टूट गया है, अब तो उनका सारा ध्यान आसमान में हैl रंग बदलने की फितरत अब गिरगिट … Read more

अब बदल रहा है वो

शिवांकित तिवारी’शिवा’ जबलपुर (मध्यप्रदेश) ******************************************************************** आखिर अब खुद को बदल रहा है वो, गिर उठ गिर फिर संभल रहा है वोl मौसम का मौसम बिगड़ रहा है अब, और काँटे भरे रास्तों पर चल रहा है वोl हिम्मत अब उसकी और बढ़ती जा रही है, खयालों से सवाल कर आजकल रहा है वोl हवाओं को … Read more

ताने कस रहा है वो…

शिवांकित तिवारी’शिवा’ जबलपुर (मध्यप्रदेश) ******************************************************************** मुझ पर ताने कस रहा है वो, मेरे जख्मों पर हँस रहा है वो। गुरुर की नाव में सवार होकर चला था, अब बीच मझधार में आकर फँस रहा है वो। बड़ा होकर बदल जायेगा,ये भरम था मेरा, आसमां में उड़ने की जगह जमीं में धंस रहा है वो। आँखों … Read more

ये वहम तुम्हारा अहम है

शिवांकित तिवारी’शिवा’ जबलपुर (मध्यप्रदेश) ******************************************************************** सिर्फ हम ही हम हैं, ये वहम तुम्हारा अहम है। आसमां में उड़ रहे हैं वो, जिनके लिए जमीं कम है। पिता सबसे अनमोल है जग में, बाहर से कठोर,अंदर से नरम है। तुम्हारे भाग्य का भागकर आएगा, मेहनत जी तोड़ करो,बाकी सब भरम है। अपना हर कदम मजबूती से … Read more

नजर में फिर नजर नहीं आया

शिवांकित तिवारी’शिवा’ जबलपुर (मध्यप्रदेश) ******************************************************************** नजर में फिर नजर नहीं आया नजर लगाने वाला, आख़िर पकड़ा गया वो दरिंदा शहर जलाने वाला। खुद को खुदा मानकर बिना खौफ के जीने वाला, मर गया एक दिन फिर खुद को खुदा बताने वाला। भरोसा उसका भी टूटा,जो कभी भरोसे की मिसालें देता था, नींद से जाग ही … Read more