किसान हूँ
विजय कुमारमणिकपुर(बिहार) ****************************************************************** मेहनत में कमी नहीं,क्या कहूं फुरसत नहींकभी सूखे से ग्रस्त हूँ,तो कभी बाढ़ से त्रस्तनुकसान हुआ,इसीलिए बेचैन हूँ,दुखी हूँ,क्योंकि एक किसान हूँ…। कभी प्राकृति आपदा आए,तो कभी मानव निर्मित आपदाआपदाओं से घिरा हूँ,क्योंकि किसान के घर में पला हूँऔर ये सब मैं सहा हूँ,दुखी हूँ,क्योंकि एक किसान हूँ…। कभी बीज की कमी,तो … Read more