अजर-अमर विभूति
विजयलक्ष्मी विभा इलाहाबाद(उत्तरप्रदेश)************************************ दो अक्टूबर लाया भू पर,दो विभूतियां अजर-अमर।गूंजे नभ भूतल दोनों के,मिल कर विजय घोष के स्वर॥ किसके थे अवतार उभय गुरु,हमको अब भी ग्यात नहींकिन्तु अभी तक इस दिन जैसा,उर्मिल हुआ प्रभात नहीं।जन्म दिवस था या पृथ्वी पर,आये थे दो देव उतर॥ प्रथम पूज्य बापू ने आकर,दी जगती को दृष्टि नईकी मानव के … Read more