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भारत को इंडिया कहना उसका अपमान

मुद्दा:भारत को भारत कहो,इण्डिया नहीं-कुछ विचार व सुझाव….

इला प्रसाद(अमेरिका)

भारत को इंडिया कहना उसका अपमान है। यह अपमान अंग्रेजों ने किया और स्वतंत्रता के बाद हमारे राजनीतिज्ञों ने इस मानसिक दासता को स्वीकार किया,लेकिन आज का भारत इंडिया नहीं है। फिर इस अपमान से भी क्यों न मुक्ति पा ली जाए!

कादम्बरी मेहरा(अमेरिका)

हमारा देश भारत है। उसको यवनों द्वारा एक अटकल पच्चू नाम दे दिया गया। इसको हमारे देश का सही नाम हरगिज़ नहीं माना जाना चाहिए। मैंने अपने लेखन में यथासंभव भारत शब्द का ही प्रयोग किया है। अब कोशिश यह रहेगी कि हमारे बच्चे भी भारत ही बुलाएं।

निर्मल कुमार पाटौदी(मध्यप्रदेश)

राष्ट्र हित के लिए संविधान में से ‘इण्डिया’ शब्द को हटाकर सिर्फ़ ‘भारत’ ही रहे,इस समस्या के समाधान के लिए सुझाव है कि अगर आपको उचित लगे,तो कुछ दिन के लिए इस संविधान में सिर्फ़ ‘भारत’ रहे,‘इण्डिया’ सदा के लिए बिदा हो जाए,इस राष्ट्र हितैषी पूर्ति के लिए स्वयं को समर्पित कर दें। सहयोग दें और दिलाएं। इस भारत और भारतीयता के अवसर को उपलब्धि में हमें ही बदलना होगा।

डॉ. एम.एल.गुप्ता ‘आदित्य'(महाराष्ट्र)

भारत देश के नाम से इंडिया शब्द हटाने के लिए प्रस्तुत याचिका के समर्थन के लिए इस कड़ी (लिंक) पर जा कर हस्ताक्षर( http://chng.it/dsfdfT7QFD)करें। यह बताते हुए अत्यधिक प्रसन्नता हो रही है कि ‘भारत बनाम इंडिया’ की ऑनलाइन याचिका पर उपरोक्त लिंक के माध्यम से अपना समर्थन देने वालों में बड़ी संख्या अप्रवासी भारतीयों की है। विदेशों में रहकर भी भारत और भारतीयता के प्रति उनका ऐसा प्रेम वंदनीय है। मुझे लगता है देशवासियों को अप्रवासी भारतीयों के भारत-प्रेम से प्रेरणा लेनी चाहिए। जिन मित्रों ने अभी तक याचिका पर हस्ताक्षर नहीं किए हैं, वे शीघ्र करें और इसमें सहयोग के लिए संदेश को अपने सभी मित्रों और मित्र समूह पर व्यक्तिगत अनुरोध सहित प्रेषित भी करें। ध्यान रहे कि यह कार्य किसी व्यक्ति का नहीं,बल्कि पूरे देश के सम्मान और स्वाभिमान का है।

(सौजन्य:वैश्विक हिंदी सम्मेलन,मुंबई)

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