मासूम की समझ

रणदीप याज्ञिक ‘रण’  उरई(उत्तरप्रदेश) ******************************************************************** ६ वर्षीय गुनगुन अपने विद्यालय का होमवर्क कर रही थी। होमवर्क में-केले के छिलके,सोता हुआ व्यक्ति और पैदल चलते व्यक्ति के चित्र बने थे,जिन्हें-कूड़ेदान,बैडरूम तथा…

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हर संघर्ष से पहले एक संघर्ष

रणदीप याज्ञिक ‘रण’  उरई(उत्तरप्रदेश) ******************************************************************** जब दिखता विशाल कोहरा नदी के उस पार, तब लकड़ी,गठ्ठे पर चलानी पड़ती आरी की धार... तब जाकर मेहनत पसीने से बनती नौका विशालl जब…

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बेनाम इशारों पर आजादी

रणदीप याज्ञिक ‘रण’  उरई(उत्तरप्रदेश) ******************************************************************** अब आराम कहाँ, दिमाग जो खुद व्यस्त चौराहा हो चला तभी तो अब शान्त गली भी मन को रिझाती है...l अच्छा लगता है अब, कभी-कभी…

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छोड़ दो या खोज लो

रणदीप याज्ञिक ‘रण’  उरई(उत्तरप्रदेश) ******************************************************************** या तो छोड़ दो,या फिर खोज लो, अंधकार तिमिर,जीवन के पथ परl मशाल बाती गूंथ लो,या फिर मशाल लौ को फूंक दो, या तो उठ…

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रंग एक ही है

रणदीप याज्ञिक ‘रण’  उरई(उत्तरप्रदेश) ******************************************************************** १२ वीं कक्षा उत्तीर्ण कर रविन्द्र सोशल मीडिया की दुनिया में प्रवेश कर चुका था। जहाँ उसने देश-दुनिया,रिश्ते, समाज,धर्म,कर्म तथा राजनीतिक मुद्दे जैसी सारी चीजें…

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