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दिनचर्या में भी जी सकते हैं देशभक्ति को

इंदौर (मप्र)।

राष्ट्रप्रेम हृदय से होता है,इसे किसी बाहरी आवरण या प्रदर्शन की आवश्यकता नहीं होती। साधारण जीवन व्यतीत करके भी हम रोजमर्रा की दिनचर्या में देशभक्ति को जी सकते
हैं।
यह विचार नौसेना के पूर्व अधिकारी ओ. पी. यादव ने बतौर मुख्य अतिथि व्यक्त किए। अवसर था संस्था नई कलम के सामाजिक संचेतना विभाग द्वारा ओ. पी. यादव के सम्मान तथा काव्यगोष्ठी के आयोजन का। इस मौके पर नगर के युवा क़लमकारों ने पुलवामा शहीदों की शहादत को नमन करते हुए देशभक्ति से ओत-प्रोत कविताओं का पाठ किया। गोष्ठी में सभी रचनाएं राष्ट्रप्रेम को समर्पित रही। लव यादव,अमित अभ्यंकर,संजय जैन बैजा़र,डॉ. अवनीश कुमार,सुनील सिपाही, गोपाल मनहर,पीरूलाल कुम्भकार,कुणाल शर्मा, धर्मेन्द्र अंबर,विनोद सोनगीर और जितेन्द्र राज ने काव्यपाठ किया। अध्यक्षता वरिष्ठ गज़लकार बालकराम शाद ने की। विशिष्ट अतिथि वरिष्ठ कवि हेमंत व्यास तथा पूर्व सुरक्षा अधिकारी विष्णु सिंह कुशवाह की गरिमामयी उपस्थिति रही। संचालन कवि अक्षत व्यास ने किया। आभार संस्था उपाध्यक्ष कवि विनोद सोनगीर ने माना।

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