दिल में यही मलाल

शंकरलाल जांगिड़ ‘शंकर दादाजी’रावतसर(राजस्थान) ****************************************** दिल में जाने उठ रहे कैसे हैं ये सवाल,हैं दिल के जो धनवान बनाया उन्हें कंगाल। दौलत से नवाज़ा उन्हें दिल‌ क्यों नहीं दिया,कैसा ये तेरा…

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प्रार्थना सुन लो प्रभो

डॉ.एन.के. सेठीबांदीकुई (राजस्थान) ********************************************* रचना शिल्प:मात्रा भार १६/१२ संसार के करतार भगवन,प्रार्थना सुन लो प्रभो।कष्ट अब मिट जाए सभी के,शोक हर लो हे विभो॥ रोते बिलखते लोग दिखते,आज विपदा आ…

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हलधर

प्रो.डॉ. शरद नारायण खरेमंडला(मध्यप्रदेश) ****************************************** जान लड़ा जो अन्न उगाता,कृषक कहाता है,सकल देश को धन्य कराता,कृषक कहाता है। आँधी,तूफाँ,गरमी,वर्षा,हर मौसम जो श्रम करता,कर्मठता का नीर नहाता,कृषक कहाता है। धरती माँ…

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प्रीत पुरानी होली की

जसवीर सिंह ‘हलधर’देहरादून( उत्तराखंड)********************************* फागुन संग-जीवन रंग (होली) स्पर्धा विशेष… कोरोना के भय में भटकी रीत सुहानी होली की।दिल्ली के धरनों ने सटकी प्रीत पुरानी होली की॥ केसर घाटी सुलग…

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हम तुम्हारे हो चुके

विवेकशील राघवहाथरस(उत्तरप्रदेश)*************************** काव्य संग्रह हम और तुम से प्रेम की बहती नदी के,हम किनारे हो चुके हैंlतुम हमारे हो चुके हो,हम तुम्हारे हो चुके हैंll भावना का आचमन कर,प्रीति पावन…

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इश्क़

ओम अग्रवाल ‘बबुआ’मुंबई(महाराष्ट्र)*********************************************** काव्य संग्रह हम और तुम से.... दिल धड़कता इश्क़ से ही,इश्क़ से चलती है श्वांस,इश्क से है लाल शोणित,इश्क जीवन की है प्यास। इश्क़ रांझा-हीर का था,इश्क़…

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झुमका

प्रो.डॉ. शरद नारायण खरेमंडला(मध्यप्रदेश) **************************************************** नारी का श्रंगार है झुमका,गरिमा का तो सार है झुमका। नारी की शोभा झुमके से,आकर्षण,उजियार है झुमका। मेले,उत्सव और पर्व पर,दमके,वह संसार है झुमका। नारी…

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यक्ष-प्रश्न

संदीप ‘सरस’सीतापुर(उत्तरप्रदेश)*********************************************** मैं अमरबेल-सा परजीवी,तुम पारिजात से वृक्ष बने।मैं हूँ रसहीन अगीत किन्तु,तुम छन्दों के समकक्ष बने। मैं हाथ जोड़कर उत्तर देता,धर्माश्रयी युधिष्ठिर सा,तुम काम्यावन सरिता तट पर,प्रश्नोत्तर करते यक्ष…

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प्यार,समर्पण करवा चौथ

प्रो.डॉ. शरद नारायण खरेमंडला(मध्यप्रदेश) ******************************************************* प्रेमिल गहरा राज़ ले,आती करवा चौथ।मिलन कराती देह का,भाती करवा चौथ। चंदा बनता साक्षी,गाता नेहिल गीत,हियकर मधुरिम चाँदनी,लाती करवा चौथ। प्रेम बढ़े तब और भी,जब…

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मुस्कुराना मना है

शिखा सिंह ‘प्रज्ञा’लखनऊ (उत्तरप्रदेश)************************************************* दर्द के मुशायरा पर मुस्कुराना मना है,दर्दे-गम में तड़पकर घबरा जाना मना है। इश्क़ के राह में तेरा बच पाना मना है,अजनबी के वार से संभल…

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