पुस्तकों तुम सदा रहो

डॉ. आशा गुप्ता ‘श्रेया’जमशेदपुर (झारखण्ड)******************************************* विश्व पुस्तक दिवस स्पर्धा विशेष…… पुस्तकें हैं मित्र सखी जीवन के सुख-दु:ख में,पुस्तकें हैं पढ़ती मनोवैज्ञानिक-सी हमें भी।पुस्तकें है साथी विश्वास से अपना बनाती,पुस्तकें हैं समझती प्रेम की वो पराकाष्ठा।पुस्तकें हैं रखती संभाल प्रेम का प्रथम पुष्प,पुस्तकें हैं छुपा रखती अमूल्य भाव पत्रों का।पुस्तकें हैं तिजोरी रखती रुपए पन्नों बीच,पुस्तकें … Read more

बची है थोड़ी-सी जिंदगानी

संजय गुप्ता  ‘देवेश’ उदयपुर(राजस्थान) *************************************** गुजरी है एक लम्बी उम्र,अब और मत कर धोखादेख ले अपनी जिंदगी के,करमों का लेखा-जोखा। जमा पे नज़र डालकर अपने से सवालकभी आया मन में ख्याल,इस मद में कितना जमा किया पुण्यया नम्बर लिखा है शून्य,दूसरा कालम तेरे खर्चे कातेरे पापों के चर्चे का,इन्सान बना रहा किस दर्जे का ? बड़ों … Read more

जीवन अमृत ‘ज’ जल

डॉ. आशा गुप्ता ‘श्रेया’जमशेदपुर (झारखण्ड)******************************************* ज से जल जीवन स्पर्धा विशेष… सदियों से बहती धारा है जल,प्रकृति का अनुपम दान जलमुग्ध होते हो मानव लख दृश्य,ना छेडो़ गरिमा पावन है जल। धरा चहुँ ओर है सागर जल,विचरण करे जीव प्राण जलमछली का स्वाँस जल जीवन,मोती नाना सम्पत्ति भीतर जल। मानव शरीर भीतर रहता जल,अस्वस्थ आवश्यकता … Read more

जीवन में रंगों संग फगुनाई

डॉ. आशा गुप्ता ‘श्रेया’जमशेदपुर (झारखण्ड)******************************************* फागुन संग-जीवन रंग (होली) स्पर्धा विशेष… शीत ऋतु के बाद,जब प्रकृति अंगड़ाई लेती है,तो बसंत के बहार के साथ,प्रकृति के सुंदर उद्गार के संग जन-जन में फागुनी खुमार भी चढ़ने लगता है। जहाँ वन में पलाश अपनी नारंगी आभा से चमकता फागुन के आगमन का संदेश देता है,वहीं पुष्प झूम-झूम … Read more

मैं

डॉ. आशा गुप्ता ‘श्रेया’जमशेदपुर (झारखण्ड)******************************************* मैं क्या अस्तित्व समाहित,परमेश्वर सदा जो मन में। नहीं रुप ना कोई काया,यह है ब्रहमांड उपवन में। अजर-अमर सदा है माने,समझे मानुष ‘मैं’ है तन में। मैं का गर्व है जो भटकन,मैं को जो सदा मस्तिष्क में। फिर इसको समझे अहम,जो नहीं है वस्तु औ धन में। मैं अविनाशी है … Read more

जग पर उपकार

संजय गुप्ता  ‘देवेश’ उदयपुर(राजस्थान) *************************************** नारी आपकी महत्ता को,जग करे नमस्कार,आप जननी जग की,जग पर किया उपकार।नारी आपकी महत्ता को… नारी को समझें नहीं,अबला या लाचार,शीश उठाये वह खड़ी,मांग रही अधिकार।समाज के हर क्षेत्र में,अब है भागीदार,नारी शक्ति तुझे नमन,जग करता हर बार।नारी आपकी महत्ता को…॥ आँचल में ममता बसी,तुम हो पालनहार,अपने इस कर्तव्य को,आँसू करे … Read more

सच में महादेव हो तुम

डॉ. आशा गुप्ता ‘श्रेया’जमशेदपुर (झारखण्ड)******************************************* महाशिवरात्रि विशेष……. तुम शिव शंकर गौरी शंकर,प्रभु तुम पशुपति काशीनाथपूजत भक्त हैं तुम्हें दीनदयालु,तुम सबके आस-मान आधार। अद्भुत रूप कैलाश विराजत,भक्तन को प्रेम दया से तारतजटा में गंगा मैया हैं विराजत,गले सर्प मानो मनके का हार। देव दानव सभी प्रभु पूजत,सबके लिए दया सम भावगरल रख लिए कंठ में अपने,दया … Read more

तुम केन्द्र,मैं धुरी तुम्हारी

डॉ. आशा गुप्ता ‘श्रेया’जमशेदपुर (झारखण्ड)******************************************* महिला दिवस स्पर्धा विशेष…… हाँ…मैं हूँ स्त्री,कहते हो मुझे नारीअनेक नाम हो देते,हाँ..मैं वो हूँजो मुझे तुम कहते हो,हाँ…देते अनेक नामफिर भी…मुझे है सिद्ध करनाअभी बहुत कुछ।हाँ…मेरा संघर्ष युगों से चल रहा,और चलता रहेगामेरे स्नेह त्याग बलिदान की,नहीं है कोई सीमाना कोई परिभाषा।पूछती हूँ तुमसे मैं आजकितना समझे मुझे…?क्या मेरा … Read more

मातृभाषा संस्कृति का श्रृंगार

डॉ. आशा गुप्ता ‘श्रेया’जमशेदपुर (झारखण्ड)******************************************* अंतरराष्ट्रीय मातृभाषा दिवस स्पर्धा विशेष…. विभिन्न भाषाएं बोली औ वेष,सजा है विश्व हर देश-प्रदेशजोडे़ अपनत्व संस्कृति भाषा,गौरव सदा बढ़ाए मातृभाषा। शिशु जन्म से ना जाने भाषा,पुचकारे हैं नानी दादी मातासीखे बचपन में पहली बोली,वही बन जाती है मातृभाषा। बोले पढे़ सीखे अक्षर ज्ञान,शारदे आशीष से हो संज्ञानवर्ण जाति धर्म से … Read more

दर्द पिता का जाने कौन ?

संजय गुप्ता  ‘देवेश’ उदयपुर(राजस्थान) *************************************** दर्द को दबाना और उमड़ते अश्रुओं को छुपा जानावो चला जा रहा दूर राम और दशरथ का चला जाना,सुना होगा धोखे से कर दिया पुत्र अभिमन्यु का संहार-पिता अर्जुन को लगा होगा,अपने जीने पर धिक्कार।सिद्धार्थ ने कब सोचा होगा कि उनके दिल का टुकड़ामहावीर उसे दुखी कर,मिटाने चला जग का दुखड़ा,वासुदेव … Read more