मातृभाषा के बिना शिक्षा नीति अपंग

निर्मलकुमार पाटोदीइन्दौर(मध्यप्रदेश)************************************************** शिक्षा नीति-२०२० नई शिक्षा नीति पर प्रधानमंत्री के हस्तक्षेप के बाद केबिनेट की बैठक में अंतत: मंज़ूरी मिल जाने से एक बड़ी यह चिंता दूर हो गई है कि सरकार का कार्यकाल बीत जाता और और सारी मेहनत व्यर्थ रह जाती।कस्तूरीरंगन की अध्यक्षता वाली शिक्षा नीति समिति के मूल प्रस्तावों को सरकार ने … Read more

किसान हूँ

विजय कुमारमणिकपुर(बिहार) ****************************************************************** मेहनत में कमी नहीं,क्या कहूं फुरसत नहींकभी सूखे से ग्रस्त हूँ,तो कभी बाढ़ से त्रस्तनुकसान हुआ,इसीलिए बेचैन हूँ,दुखी हूँ,क्योंकि एक किसान हूँ…। कभी प्राकृति आपदा आए,तो कभी मानव निर्मित आपदाआपदाओं से घिरा हूँ,क्योंकि किसान के घर में पला हूँऔर ये सब मैं सहा हूँ,दुखी हूँ,क्योंकि एक किसान हूँ…। कभी बीज की कमी,तो … Read more

निराले नेह का बंधन

मनोज कुमार सामरिया ‘मनु’जयपुर(राजस्थान)**************************************************** रक्षाबंधन पर्व विशेष……….. बना ये सूत का धागा,निशानी प्रीत की समझूँ,निशानी मतलबी जग में,अनूठी रीत की समझूँ।कलाई पर सजा देखूँ,निराले नेह का बंधन-सभी रिश्तों में पावन ये,निभानी प्रीत की समझूँ॥ सजाए थाल रिश्तों का,आ गई सावनी राखी,हजारों रंग के सपने,लिए मन भावनी राखी।कि शिव संकल्प रक्षा का जगाती भावना मन में-सजेगी … Read more

जुनूं-ए-सफ़र

निर्मल कुमार शर्मा  ‘निर्मल’ जयपुर (राजस्थान) ***************************************************** चलता ही मैं जा रहा,यूँ बिन थके किस वास्ते,लगता है कि मैं रुका हूँ,चल रहे हैं रास्ते। देख कर के काँटों को,वो कारवाँ जो रुक गया,फ़र्ज़ बोला,काम तेरा,और फिर मैं जुट गयाफिर तो जुनूं ने कर दिया,सब,कारवाँ के वास्ते,लगता है कि मैं रुका हूँ,चल रहे हैं रास्ते। रुक गये … Read more

प्रेम में है जीवन

रूपेश कुमार सिवान(बिहार)  ******************************************************** ‘प्रेम’ में है जीवन की सब खुशियाँ यहाँ,प्रेम में है जीवन की सब दुनिया यहाँl प्रेम में है जीवन की सब रुसवाईयाँ,प्रेम में है जीवन की सब रंगरेलियाँl प्रेम में है जीवन की परिकल्पना,प्रेम में शामिल है हर आत्माl प्रेम में है हर दीवानगी,प्रेम में है हर आवारगीl प्रेम में है … Read more

स्वागत सावन

डॉ.राम कुमार झा ‘निकुंज’बेंगलुरु (कर्नाटक) ********************************************************************* स्वागत सावन मास का,अभिनन्दन शिवधाम।ग्रीष्मातप आहत धरा,बरसे नभ घनश्याम॥ पावस ऋतु स्वागत करे,बढ़कर सावन मास।शिव सुन्दर भावन जगत,सावन मन आभास॥ चमक रही घन बिजुरियाँ,दादुर मुख मुस्कान।चला कँवरिया जलभरण,हरिहर भोले गान॥ सुख-दु:ख का गमनागमन,नवजीवन सौगात।पतझड़ बस अहसास बन,फिर सावन बरसात॥ शीतल मंद समीर नित,कहीं धूप कहँ छाँव।उमर घुमड़ बरसे घटा,समझो … Read more

मन को लुभाए सावन

सूरज कुमार साहू ‘नील`भोपाल (मध्यप्रदेश)***************************************************************** बड़ी तेज बरस रही बारिश,पानी की छम-छम बूँद गिरेभर आँगन गया परछी गीली,अब तो पानी अँख मूँद गिरे। गीली मेड़ भर खेत गया,डम डोल हुआ पानी-पानीमन को लुभाए यह सावन,और करे कोई आना-कानी। जहाँ रखे पैर वह फिसल जाए,गिर कीचड़ में सन जाएमन की अभिलाषा मेरा प्रिय,इस मौसम में लूट … Read more

हम हिन्दुस्तानी

विजय कुमारमणिकपुर(बिहार) ****************************************************************** हिन्दुस्तान में जीने वाले,पाकिस्तान पे नहीं मरतेजो मरते हैं वो कभी,हिन्दुस्तान के नहीं होते। कुछ तो ज़ालिम अभी जिंदा हैं,जो देशभक्ति नहीं जानतेवरना पाकिस्तान तो क्या,चाइना को भी घुसकर मारते। सदियों से मेरा मुल्क,अहिंसा पथ पर चला आ रहावरना ग़द्दार तो क्या,देशद्रोही को भी नहीं छोड़ते। इस देश के कुछ नपुंसक लोग,वीरो … Read more

एक वीर का आखरी खत

विजय कुमारमणिकपुर(बिहार) ****************************************************************** लिख रहा हूँ,खत तुम्हें माँकलम न मिली तो खून से,अचंम्भित है दुश्मन,मेरे प्रचण्ड प्रहार से,लाशों के ढेर और खाली हथियार से। लगी है प्यास तो रक्त पी रहा हूँदुश्मन के आगे दीवार बन गया हूँ,गोली तो हमें भी लगी,पर डरा नहीं हूँसाँस रुक रही है,पर सिर झुकाया नही है। एक इंच भी … Read more

ज्ञान मिले तो जग मिले

कृष्ण कुमार कश्यपगरियाबंद (छत्तीसगढ़) ********************************************************************** जग में शिक्षा की सदा,होती जय-जयकार।कर्म धर्म धन है यही,है जीवन का सार॥ यह धन जग में है बड़ा,दूजा क्या अनमोल।ज्ञान कभी बिकता नहीं,आँखें अब तो खोल॥ गीता की वाणी यहाँ,इसमें चारों धाम।ज्ञान मिले मिल जाय सब,सोच-समझ कर काम॥ लूट सको तो लूट लो,जहाँ ज्ञान की खान।ज्ञानवान बनना तुम्हें,तो कर … Read more