मादक पदार्थ और ‘सोम’ में कोई एकरूपता नहीं

योगेन्द्र प्रसाद मिश्र (जे.पी. मिश्र)पटना (बिहार)******************************************************** आज के सनसनीखेज समाचारों में ड्रग्स (नशीले-मादक पदार्थ)का नाम अवतरित हो जाता है। मादक पदार्थ का सेवन समाज के पैसे वाले लोगों में करने की बात सुनी जाती है। वर्तमान समय में मादक पदार्थ ने अपना नाम समाज को खूब बाँटा है। जिसके लिए मादक पदार्थ आकाश-कुसुम की तरह … Read more

गजानन सुन लो हमारी पुकार

आशा जाकड़ ‘ मंजरी’इन्दौर(मध्यप्रदेश)*********************************************************** गजानन सुन लो हमारी पुकार,गजानन लाओ खुशियाँ अपार। विघ्नों के हर्ता हो,कष्टों के हर्ता हो,मंगलदायक तुम सुखों के कर्ता होभर दो समृद्धि का भंडार,गजानन लाओ खुशियाँ अपारll कोई काम शुरू हम करते,पहले नाम तुम्हारा ही लेतेहर संकट करे निवार,गजानन लाओ खुशियाँ अपारll अज्ञान का छाया है अंधेरा,कर सकते हो तुम्हीं उजेराज्ञान … Read more

गणेश वंदना

प्रिया देवांगन ‘प्रियू’ पंडरिया (छत्तीसगढ़) ************************************************************* छन्न पकैया छन्न पकैया,बाल गणेश पधारे।मूषक ऊपर सवार करके,आये मेरे द्वारेll छन्न पकैया छन्न पकैया,बच्चे उनको भाये।सबके घर में जा-जा करके,लड्डू मोदक खायेll छन्न पकैया छन्न पकैया,सबको विद्या देते।छोटे नटखट बाल गणेशा,कभी नहीं कुछ लेतेll छन्न पकैया छन्न पकैया,गौरी पुत्र गणेशा।माता जी है पार्वती और,पिता जी है महेशाll छन्न … Read more

जीवन सरिता बहती जाए

शंकरलाल जांगिड़ ‘शंकर दादाजी’रावतसर(राजस्थान) ***************************************************************** जीवन सरिता बहती जाए कहीं न रुकने पाए,मन का सारा कलुष ज्ञान की गंगा में बह जाए। करूँ प्रार्थना तुमसे स्वामी मैं बालक नादान तेरा,मेरे हाथों कोई भी अपकर्म न होने पाए। दुनिया की है कठिन डगर मैं कैसे पार करूँगा,बस मेरी विनती है जीवन सरिता बहती जाए। दुनिया में आकर … Read more

…पत्थर बनाया न होता

डॉ.अमर ‘पंकज’दिल्ली******************************************************** अगर मैं तेरे शह्र आया न होता,तो दिल को भी पत्थर बनाया न होता। उजड़ती नहीं ज़िंदगी हादसों से,अगर होश अपना गँवाया न होता। सँपोले के काटे तड़पता नहीं मैं,अगर दूध उसको पिलाया न होता। बयाँ कैसे करता यहाँ अपना अनुभव,अगर ज़िंदगी ने सिखाया न होता। कभी कह न पाता ग़ज़ल इस तरह … Read more

प्यार ऐसा न हो

विजय कुमारमणिकपुर(बिहार) ************************************************************* प्यार ऐसा न होकि मौत बन जाए,होंठों पे तेरा नाम…अंदर कुछ और हो जाए। इरादा जैसा भी होनजदीकी साफ नजर आए,रिश्ता पवित्र हो या न हो…पर दुल्हन तैयार हो जाए। जुबां से निकली आवाजसमां के पार हो जाए,हवा का रुख बदले न बदले…जान तेरे नाम हो जाए। कसम खाई है साथ जीने … Read more

समाज को सकारात्मक परिवर्तन हेतु प्रेरित करेगी धनुष उठाओ हे अवधेश

अवधेश कुमार ‘अवध’ मेघालय *************************************************************** संत कबीर की उक्ति दु:ख में सुमिरन सब करै…” आज भी प्रयोजन युक्त है। दुखिया है कौन! कबीर बाबा बताते हैं कि,…दुखिया दास कबीर है…।अर्थात् जो समाज के बारे में सोचेगा,वह सामाजिक अवमूल्यन देखकर दुखी अवश्य होगा और एक सामाजिक प्राणी के नाते मनुष्य होने की यह निर्विवाद शर्त भी … Read more

मीडिया में रिया चालीसा का ही जाप क्यों ?

ललित गर्गदिल्ली ******************************************************* भारत में एक नई आर्थिक सभ्यता और एक नई जीवन संस्कृति करवट ले रही है,तब उसके निर्माण में प्रभावी एवं सशक्त भूमिका के लिए जिम्मेदार दोनों मीडिया शायद दिशाहीन है। १३० करोड़ की आबादी का यह देश कोरोना एवं अन्य जटिल समस्याओं से जूझ रहा है,इन समस्याओं एवं अन्य समस्याओं से लड़ते … Read more

गाँव की मिट्टी

अनिल कसेर ‘उजाला’ राजनांदगांव(छत्तीसगढ़)************************************************* गाँव की मिट्टी याद बहुत आती है,हर ज़ख्म की दवा बन जाती है।होती है न जात-पात,न छोटे-बड़े,सबकी आँखों में खुशियाँ लाती है। पीपल-बरगद की छाँव में,मेले लगते हैं गाँव-गाँव में।होती जब किसी को पीड़ा,आते हैं सब दौड़े एक पाँव में। गाँव की मिट्टी की खुशबू आती है,खुशियाँ हृदय में हजार लाती है।ग़ैर … Read more

मज़दूर

वकील कुशवाहा आकाश महेशपुरीकुशीनगर(उत्तर प्रदेश) ************************************************************* बनाता वाहनों को है वो इक मज़दूर होता है,मगर पैदल ही चलता है बहुत मजबूर होता है। बनाता है किला वो ताज,मीनारें,पिरामिड भी,मगर गुमनाम रहता है कहाँ मशहूर होता है। दरो-दीवार पर करता सदा जो पेंट औ पालिश,कि चेहरे से उसी के दूर अक्सर नूर होता है। बहुत होता है … Read more