हमदर्द बेटियाँ

कविता जयेश पनोतठाणे(महाराष्ट्र)********************************************************** कोमलता,प्यार और भावनाओंकी मूर्ति होती हैकहते हैं नसीब वाले होते हैं लोग,जिनके घर बेटियां जन्म लेती है।माँ के दिल की हमदर्द बन जाती है,पापा की ये लाडो कहलातीभाई-बहन के मीठे बंधन,बखूबी से निभाती।खेल-खेल में संसार सारा रचा जाती,कितनी अद्भुत रचना है ईश्वर की येकभी माँ,कभी बहन,तो कभी नानी-दादी,बन अपने अंदर बसे हर … Read more

कृष्ण से है जगत सारा

प्रो.डॉ. शरद नारायण खरेमंडला(मध्यप्रदेश) *********************************************************************** जन्माष्टमी विशेष……… कृष्ण का नाम लेने से,खिलें सूखे सभी उपवन,कृष्ण का जाप करने से,सुवासित होता हर तन-मनlकृष्ण से है जगत सारा,कृष्ण हैं धर्म का आशय-कृष्ण से काम हर पूरा,सभी की ज़िन्दगी गुलशनll प्यार राधा औ’ किशना का,धर्म की ही कहानी है,बिरज की भूमि में महकी,ये इक नेहिल बयानी हैlसमर्पण,त्याग औ’ … Read more

नई शिक्षा नीति और सामाजिक सोच में कितना तालमेल ?

अजय बोकिलभोपाल(मध्यप्रदेश)  ***************************************************************** प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति के संदर्भ में कहा कि-“ये शिक्षा नीति सभी के परामर्श से तैयार की गई है। यह कोई सर्कुलर नहीं,बल्कि महायज्ञ है,जो नए देश की नींव रखेगा और एक नई सदी तैयार करेगा।” प्रधानमंत्री का यह भाषण उनके संवाद कौशल की ही ताजा कड़ी है। … Read more

यकीन रखो तुम

वकील कुशवाहा आकाश महेशपुरीकुशीनगर(उत्तर प्रदेश) *************************************************************** मान लिया जब दूर हुए तब लक्ष्य तुझे लगते सपने से,धीरज किन्तु रखो मन में यह दर्द बढ़ेगा सदा जपने से,कष्ट हजार सहो पर यार यकीन रखो तुम तो अपने से,कुंदन और निखार लिये दमके-चमके सुन लो तपने से। परिचय–वकील कुशवाहा का साहित्यिक उपनाम आकाश महेशपुरी है। जन्म तारीख १५ … Read more

चलो अयोध्या धाम

अवधेश कुमार ‘अवध’ मेघालय ******************************************************************** चलो अयोध्या धाम,विराजेंगे अपने श्रीराम। कभी राम झुठलाये जाते,नकली चरित बताये जाते।आतंकी बाबर के सम्मुख-मनगढ़ंत कहलाये जातेllकैसी भी हो रात,किन्तु होती है सुबह ललाम। वंशज बहुधा जीते-हारे,अनुयायी के वारे-न्यारे।रक्तपात के छद्म खेल में-रामभक्त तन मन धन वारेllहुआ बहुत बलिदान,साक्ष्य है पावन सरयू धाम। राम अदालत में भी आए,साक्ष्य-साक्षी भी थे … Read more

हर साल बाढ़,अब समाधान करना होगा

शशांक मिश्र ‘भारती’शाहजहांपुर(उत्तरप्रदेश) ****************************************************************** जून से अब तक जब भी टी.वी. खोलो या किसी समाचार-पत्र पर नजर डालो-आज इतने बेघर इतने बहे और इतने मरे…पढ़ने अथवा सुनने को मिलता है। बड़े-बड़े व आधुनिक सुविधाओं शासन व्यवस्थाओं के लिए लोकप्रिय महानगर २-३ घण्टे की बरसात नहीं सह पाते। सड़कों पर पानी भर जाता है,नालियां बन्द होकर … Read more

सबको मीत बनाएँ

डॉ. अनिल कुमार बाजपेयीजबलपुर (मध्यप्रदेश)************************************************ आओ जीवन गीत बनाएँ।मिलकर सबको मीत बनाए॥ सुख तो आता है जाता है,मन को यूँ ही ललचाता है।दु:ख देता है मन को शक्ति,कहता कर लो प्रभु की भक्ति।क्यों न दुख को गले लगाएँ,आओ जीवन गीत बनाएँ…॥ जो आया उसको है जाना,गया है जो उसको फिर आना।रिश्ते-नाते कहाँ टिकते हैं,काम हुआ … Read more

धरा अयोध्या प्रमुदिता

डॉ.राम कुमार झा ‘निकुंज’बेंगलुरु (कर्नाटक) ********************************************************************** प्रभु के जय जयकार से,गूंजा पूरा देश।रामराज्य समरस सुखी,सिया राम संदेश॥ धरा अयोध्या प्रमुदिता,हो पूजित नरेन्द्र।खत्म हुआ वनवास अब,पधारो कौशलेन्द्र॥ शंखनाद शुभ मांगलिक,जले अयोध्या दीप।आवाहन श्रीराम का,पहुँचे स्वयं महीप॥ मिली आज स्वाधीनता,सनातनी सम्मान।सियाराम सुन्दर मिलन,फिर दर्शन भगवान॥ सुखद शान्ति सद्भावना,उन्नति मुख मुस्कान।हुआ राष्ट्र फिर राममय,पूर्ण हुआ अरमान॥ आलोकित सरयू … Read more

हे मात शत्-शत् तुम्हें प्रणाम

शंकरलाल जांगिड़ ‘शंकर दादाजी’रावतसर(राजस्थान) ********************************************************************** हे मात भारती करूँ शत्-शत् तुम्हें प्रणाम,खेला हूँ तेरी गोद में आँचल को तेरे थाम। माँ तेरे प्यार का कोई भी मोल नहीं है,मेरे लिए तो पूज्य है सारी ये धरा धाम। पावन है तेरी मिट्टी जो कान्हा ने खाई थी,मुँह में दिखाया माँ को ब्रह्माँड ही तमाम। उस मिट्टी को … Read more

मन में राम

बोधन राम निषाद ‘राज’ कबीरधाम (छत्तीसगढ़)******************************************************************** मन में राम बसा लो मानव।जीवन धन्य बना लो मानव॥कट जाएँगे पातक भारी।राम सुमिर लो हे संसारी॥ अवध बिहारी दशरथ नंदन।कर लो भक्तों शत् शत् वंदन॥ये जग के हैं पालनहारी।राम लला जग के हितकारी॥ पावन सरयू की जल धारा।बसे अवध जग से है न्यारा॥तुलसी राम चरित लिख डाला।प्रभु मूरत मन … Read more