जगत में नारी बड़ी महान

डॉ.एन.के. सेठीबांदीकुई (राजस्थान) ********************************************* नारी: मर्यादा, बलिदान व हौसले की मूरत... देवगण करते वहां निवास,जहाँ नारी का होता मान।सृष्टा की अद्भुत रचना है,जगत में नारी बड़ी महान॥ त्याग दया सेवा…

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शक्ति का अवतार नारी

कवि योगेन्द्र पांडेयदेवरिया (उत्तरप्रदेश)***************************************** नारी: मर्यादा, बलिदान व हौसले की मूरत... जब अत्याचार के बोझ तले,धरती माँ आहें भरती हैं।जब नन्हीं-नन्हीं सी कलियाँ,काँटों की पीड़ा सहती हैं॥ जब पापी का…

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प्रभु मूरत नारी

हीरा सिंह चाहिल ‘बिल्ले’बिलासपुर (छत्तीसगढ़)********************************************* नारी: मर्यादा,बलिदान, हौसले की मूरत... मर्यादा, बलिदान, हौंसले, की सूरत प्यारी,प्रभु मूरत नारी।दिखते नहिं भगवान उन्हीं की, तो सूरत न्यारी, प्रभु मूरत नारी॥ प्रभु ने…

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चितवन की भंग

डॉ. गायत्री शर्मा’प्रीत’कोरबा(छत्तीसगढ़)******************************************* चितवन की भंग ने कर दिया कमाल।रखना तुम गौरी अब खुद को संभाल॥ अँखियों से झरती है रंगों की धार,होली की गौरियाँ है बलखाती नार।मनमौजी कान्हा ने…

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मैं तो भीगी पिया रंग में

आशा आजाद`कृतिकोरबा (छत्तीसगढ़)**************************** पुलकित मेरे नैन सलोने, मन बिछा रंगोली रे।मैं तो भीगी पिया रंग में, खूब खेलूँ होली रे॥ मैं कुछ इतराऊँ बलखाऊँ, नैन जब टकराये जी,आए गुलाल मुख…

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नाना रंग दिखाती होली

डॉ.एन.के. सेठीबांदीकुई (राजस्थान) ********************************************* जीवन और रंग.. फागुन की मस्ती में झूमे,नाचे मस्तानों की टोली।लाई मस्ती की बहार ये,नाना रंग दिखाती होली॥ रंग अबीर गुलाल उड़ाते,पीकर भंग करे हुडदंग।मस्ती में…

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होली की बहार

बोधन राम निषाद ‘राज’ कबीरधाम (छत्तीसगढ़)****************************************************** जीवन और रंग... होली की आई बहार,सखी रे आज झूमो नाचो।झूमो नाचो रे, खुशियाँ बाँटो,होली की आई बहार…॥ प्रेम के रंग में तन को रँगा…

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उजियारा वर लो

प्रो.डॉ. शरद नारायण खरेमंडला(मध्यप्रदेश)******************************************* जागो अब तो सारे लोगों, उजियारा वर लो।बीती बातें दूर करो अब, तिमिर सकल हर लो॥ नए सोच को धारण कर लो, मन को अब मोड़ो,अंधी…

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मनबसिया ना आज पास रे

डॉ. कुमारी कुन्दनपटना(बिहार)****************************** मुझे भाये ना बसंती फाग रे।मनबसिया ना आज मेरे पास रे॥ पुरवईया पवन लगाये अगन,सब अपनी-अपनी धुन में मगनमैं जाऊं कहां, चहुँ ओर रंग बरसे,मेरी कोरी चुनर,…

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लूट लिया खलिहान

डाॅ. अरविंद श्रीवास्तव 'असीम'दतिया (मध्यप्रदेश) ********************************************************** कच्ची माटी के फूटे घरदेते यही बयानहमदर्दों ने मिलकर सारालूट लिया खलिहान। बारिश ने फसलों को धोखा दिया बहुत भारीपर खेतों ने जान लगा…

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