काम की करामात

मीरा जैनउज्जैन(मध्यप्रदेश) ************************************************ सौम्या- ‘दादी जी ! स्कूल को देर हो रही है, मेरा टिफिन भी डाल दीजिए।’समर- ‘दादाजी ! मेरे बाल संवार दीजिए…।’सौम्या- ‘दादी जी ! मैं तो भूल ही गई थी, मुझे आज ही स्कूल में एक कहानी सुनानी है। ऐसा करिए, आप मुझे तैयार करते हुए कहानी भी सुनाते जाइए, मैं वही … Read more

अमर भोजनालय

डॉ.पूजा हेमकुमार अलापुरिया ‘हेमाक्ष’मुंबई(महाराष्ट्र) ****************************************** उम्र के साथ नजर जरा कमजोर हो चली थी, इसलिए रामचरण ने छोटी पोती धैर्या को बुला महीने भर के बिलों को दिखाते हुए हिसाब किताब कर रकम थमा दी। अंत में अमर के नाम का लिफाफा भी।कई वर्षों से यही सिलसिला चल रहा था। आज धैर्या से रहा नहीं … Read more

कर्म

डॉ.पूजा हेमकुमार अलापुरिया ‘हेमाक्ष’मुंबई(महाराष्ट्र) ****************************************** शांतनु अपने पापा के साथ बाजार गया। बाजार में काफी शॉपिंग के बाद वे लुहार की दुकान पर पहुंचे।दुकान देख शांतनु ने पापा से पूछा, “पापा ये लोहार क्या-क्या बनाते हैं ?”“बेटा वैसे तो लोहार सुई से लेकर दरवाजे, तगारी, फावड़ा, लोहे के फर्नीचर, बाल्टी समेत कृषि में उपयुक्त सभी … Read more

छोटा-सा क्रिसमस ट्री

डॉ. योगेन्द्र नाथ शुक्लइन्दौर (मध्यप्रदेश)****************************** कागज को पेड़ के आकार में काट कर, मार्कर से उसने पेड़ की आकृति बनाई। कैंची से उसे काटा। उसमें छोटे-छोटे छेद किए। रंग-बिरंगे कागज काटकर सेलो टेप से उन्हें चिपकाया। छेदों में धागों की मदद से मोतियों की माला पहनाई।… रात ३ बजे तक वह क्रिसमस ट्री बनाती रही।सुबह … Read more

नुकसान

डॉ.पूजा हेमकुमार अलापुरिया ‘हेमाक्ष’मुंबई(महाराष्ट्र) ****************************************** कक्षा में आज अज्जू के प्रथम सत्र की परीक्षा का परिणाम दिखाया जाने वाला था। अज्जू के माता पिता व्यवसायिक होने के कारण काफी व्यस्त रहते थे, मगर जैसे-तैसे उसका ‘ओपन डे’ जरूर अटेंड करते थे। ओपन-डे के लिए कक्षा में सभी छात्रों सहित उनके माता पिता उपस्थित थे। शिक्षक … Read more

गलती

डॉ.पूजा हेमकुमार अलापुरिया ‘हेमाक्ष’मुंबई(महाराष्ट्र) ****************************************** आज सास की चार कड़वी बातें सुन मिताली की आँखें भर आई। उसे रह-रह माँ की याद आ रही थी। काश ! माँ ने पढ़ाई-लिखाई के साथ घर गृहस्थी की चार-छह चीजें सिखा दी होती तो आज…। इसमें माँ का दोष कहाँ था, पापा के लाड़ प्यार के आगे माँ … Read more

काकी

ममता तिवारी ‘ममता’जांजगीर-चाम्पा(छत्तीसगढ़)************************************** १८ वर्षीय मंदाकिनी, मंदाकिनी-सी ही छलकती, उछलती चारु चँचल चाँद-सी चमकती, ससुराल की ड्योढ़ी में आटे की चौक ऊपर रखे पाटे में पीली साड़ी, लाल चुनरी महावर मेहँदी सिर से पाँव तक चमकते गहनों से लदी, अंचरे में नारियल पैसे और अन्य सगुन समान रखे खड़ी है। बगल में उसके नाक से … Read more

लालच

दिनेश चन्द्र प्रसाद ‘दीनेश’कलकत्ता (पश्चिम बंगाल)******************************************* सेठ हजारीमल अपनी लड़की की शादी सेठ दीनदयाल के लड़के के साथ करने के लिए बातचीत करने आए। बहुत सारा दान-दहेज और नगद रुपयों का लालच देकर सेठ हजारीमल ने सेठ दीनदयाल को राजी कर लिया। ₹३ लाख नगद और बहुत सारे सामान के लालच में आकर सेठ दीनदयाल … Read more

सच की ऑंखें

रश्मि लहरलखनऊ (उत्तर प्रदेश)************************************************** “जानते हो मोनू के बाबू ?” अपनी धोती के कोने से अपना हाथ पोंछती हुई नेहा ने अख़बार पढ़ने में लीन अपने पति शिशिर से मुखातिब होते हुए कहा।“क्या हुआ मोनू की अम्मा ? तुम्हारा चेहरा इतना थका-सा क्यों लग रहा है ? हार्ट वाली दवा तो खा रही हो न … Read more

दूरदर्शिता

रश्मि लहरलखनऊ (उत्तर प्रदेश)************************************************** पितृपक्ष शुरू हो गए थे। विजय ने भारी मन से अपने स्वर्गीय माता-पिता को जल अर्पित किया। मात्र ४० वर्ष की आयु में उसे यह कार्य करना पड़ रहा था, पर आज, पहली बार उसको अपने पुरखों के प्रति एक अलग तरह की भावना महसूस हुई थी। मम्मी-पापा के रहते वह … Read more