गलतफहमी

ताराचन्द वर्मा ‘डाबला’अलवर(राजस्थान)*********************************************** आज सरला को पूरे ७ साल हो गए अपने पति से दूर रहते हुए। वो बिल्कुल बदल चुकी थी अपने जीवन में। बहुत ही चंचल स्वभाव की…

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साँझ

डॉ. वंदना मिश्र ‘मोहिनी’इन्दौर(मध्यप्रदेश)************************************ आजकल राधिका दिन पर दिन बहुत उदास और चुप-सी रहने लगी थी। भीड़ मे होकर भी अकेली सी,बोलती हुई भी मौन-सी हो गई थी।केशव से भी…

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भक्तिन राम प्यारी

ताराचन्द वर्मा ‘डाबला’अलवर(राजस्थान)*********************************************** आज राम प्यारी बहुत उदास थी। उसकी आँखों में आँसू बह रहे थे। शायद रोज़ की भांति बहू ने आज भी उसे भला-बुरा कहा है। बेचारी करती…

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कर्ज का दंश

ताराचन्द वर्मा ‘डाबला’अलवर(राजस्थान)*********************************************** अरे! आ गए आप। आज बड़ी जल्दी आ गए।सब खैरियत तो है ? मैं कई दिनों से देख रही हूँ आप बहुत उदास उदास से नजर आ…

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पश्चाताप के आँसू

ताराचन्द वर्मा ‘डाबला’अलवर(राजस्थान)*********************************************** दिनेश, ओ दिनेश…भैंस को पानी पिला दे बेटा। अब तो तू बड़ा हो गया है। थोड़ा बहुत घर के काम-काज में भी हाथ बटा लिया कर। मैं…

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फर्ज..अपना-अपना

गोपाल मोहन मिश्रदरभंगा (बिहार)***************************************** अरे पापा आप अभी तक तैयार नहीं हुए। बैग कहाँ है आपका ? चलिए मैं पैक करती हूँ। पापा ने एक उदास नजर नीलू पर डाली।…

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बारात…

डॉ. सोमनाथ मुखर्जीबिलासपुर (छत्तीसगढ़)******************************************* 'बारात' में जाने की बात सुनकर किसे न अच्छा लगता है। सब लोग एक से एक कपड़े में सज-धजकर बैंड-बाजा,रौशनी,डीजे की धुन के साथ थिरकते हुए…

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माँ का आँचल

स्मृति श्रीवास्तवइंदौर (मध्यप्रदेश)********************************************* कल्पना की सुबह-सुबह ही नींद लगी थी। सुबह ४ बजे तक तो वह घड़ी ही देख रही थी। क्या करती,पति के व्यापार में हुए घाटे के कारण…

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शहीद…

डॉ. वंदना मिश्र ‘मोहिनी’इन्दौर(मध्यप्रदेश)************************************ एक छोटे से गाँव में गणतंत्र दिवस मनाया जा रहा था। पूरे गाँव को रंग-बिरंगी झंडियों से सजाया गया था। सरकारी विद्यालय के विद्यार्थी खाकी पेंट…

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अबोध कली

स्मृति श्रीवास्तवइंदौर (मध्यप्रदेश)********************************************* सुबह उठकर पौधों के साथ समय बिताना राधा को बहुत पसंद है। रंग-बिरंगे फूलों की खुशबू और ताजी हवा राधा को अंदर से ऊर्जावान कर देती है।…

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