तुलसी देवे नमः नमः

गोपाल चन्द्र मुखर्जी बिलासपुर (छत्तीसगढ़) ************************************************************ "यत्र नार्य्यस्तु पूज्यन्ते रमन्ते तत्र देवता:" (मनुसंहिता) नारी ही आदि शक्ति,आधार स्वरूपा महाशक्ति,महालक्ष्मी, महासरस्वती। सृष्टि स्थिति विनाशानां शक्तिभुते सनातनी! सुधामृत सिंचित करते हुए सृष्टि…

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कोई खिड़की खुल जाएगी

डॉ.चंद्रदत्त शर्मा ‘चंद्रकवि’ रोहतक (हरियाणा) ******************************************************* ऊँची चाहे मीनार हो, सख्त बहुत दीवार हो अदम्य साहस गर तुझमें, नींव इमारत हिल जाएगी कोई खिड़की खुल जाएगी। धुंधला है चाहे आईना,…

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वाह री राजनीति…

राज कुमार चंद्रा ‘राज’ जान्जगीर चाम्पा(छत्तीसगढ़) *************************************************************************** वाह री राजनीति,गजब खेल दिखाती है, दुश्मन को दोस्त और दोस्त को दुश्मन बनाती हैl सत्ता का लालच,पद की चाह है, जिधर मतलब…

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आओ,राष्ट्रीय एकता स्थापित करने में भूमिका निभाएं

राज कुमार चंद्रा ‘राज’ जान्जगीर चाम्पा(छत्तीसगढ़) *************************************************************************** 'राष्ट्रीय एकता दिवस' मनाना महत्वपूर्ण नहीं है,बल्कि राष्ट्रीय एकता स्थापित करने में अपना योगदान देना सबसे ज्यादा महत्वपूर्ण है। राष्ट्रीय एकता इस बात…

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दिवाली आई खुशियाँ लाई

उमेशचन्द यादव बलिया (उत्तरप्रदेश)  *************************************************** सबके घर की हुई सफाई, सज गए आँगन और अँगनाई दीपों से बाज़ार है छाया, दिवाली आई,खुशियाँ लाई। हर ओर होती साफ़-सफाई, दीवारों पर होती…

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दीप पर्व

सुरेश चन्द्र ‘सर्वहारा’ कोटा(राजस्थान) *********************************************************************************** गया दशहरा तो आई लो खुशियों भरी दिवाली, जगमग-जगमग रोशन होगी रात अमावस काली। नन्हें-नन्हें दीप जलेंगे हर आँगन चौबारे, छुपा चेहरे को भागेंगे इधर-उधर…

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शरद ऋतु अभिनन्दन

डॉ.शैल चन्द्रा धमतरी(छत्तीसगढ़) ******************************************************************** सरस शरद ऋतु मृदुल-मृदुल शीत ले आई, धवल चाँदनी संग खिलखिलाए ज्यों मीत ले आई। कुमुद खिले,खिले सुरभित कमल, शुभ्र चाँदनी खिले अम्बर पर निर्मल। वृक्षों…

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स्नेहमयी माँ

गोपाल चन्द्र मुखर्जी बिलासपुर (छत्तीसगढ़) ************************************************************ शरतकाल,ऋतु चक्र में, आई है माँ धरती में। उल्लास भरे प्रकृति में, श्रृंगार किये रंग-बिरंगे साजों से। शुभ्र बादलकी कश्ती से, तैरने लगे मन…

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गांधी

सुरेश चन्द्र 'सर्वहारा' कोटा(राजस्थान) *********************************************************************************** महात्मा गाँधी जयंती विशेष....... आजादी का फूँककर,आमजनों में मंत्र। गांधी जी ने कर दिया,भारत देश स्वतंत्र॥ साधन पावन ही रहें,था गांधी का जोर। चाहे देरी…

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जिंदगी तो आज ही है

राज कुमार चंद्रा ‘राज’ जान्जगीर चाम्पा(छत्तीसगढ़) *************************************************************************** जैसे आज गुजरा है कल भी गुजर जाएगा, वर्षों से जिस पल का इंतजार था आएगा... और वो पल भी गुजर जाएगा। कल…

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