ख़ुद जीवन का रिपु मनुज
डॉ.राम कुमार झा ‘निकुंज’ बेंगलुरु (कर्नाटक) **************************************************************************** जीवन का रिपु मनुज,खड़े मौत आगाज। बिन मौसम छायी घटा,वायु प्रदूषित आजll भागमभागी जिंदगी,बढ़ते चाहत बोझ। सड़क सिसकती जिंदगी,वाहन बढ़ते रोज॥ चकाचौंध उद्यौगिकी,नभ में फैला धूम। जले पराली खेत में,मौत प्रदूषण चूम॥ चहुँदिक् है फैला तिमिर,भेद मिटा निशि रैन। नैन प्रदूषित जल रहा,सुप्त प्रशासन चैन॥ हृदय रोग बढ़ता … Read more