समझ तू खेल सत्ता का

डॉ.अमर ‘पंकज’ दिल्ली ******************************************************************************* समझ तू खेल सत्ता का मुक़द्दर बन के आया है, सियासी चाल है ये सब कलंदर बन के आया है। तुम्हें मालूम तो कुछ हो ज़माने…

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आदत बुरी है

विनोद सोनगीर ‘कवि विनोद’ इन्दौर(मध्यप्रदेश) *************************************************************** निगाहें मिलाकर निगाहें चुराना आदत बुरी है,आदत बुरी है, मुहब्बत तो हमसे है,मगर इसको छिपाना आदत बुरी है,आदत बुरी है। दिल लगा कर दिल…

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‘कोरोना’ से हम जीतेंगे

प्रो.डॉ. शरद नारायण खरे मंडला(मध्यप्रदेश) *********************************************************************** 'कोरोना' की हार आज तो अंकल जी, मानव की जयकार आज तो अंकल जी। घर में रहकर काम करो,क्राउड रोको, साहस का सत्कार आज…

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नारी है जग जननी है लक्ष्मी

एन.एल.एम. त्रिपाठी ‘पीताम्बर’  गोरखपुर(उत्तर प्रदेश) *********************************************************** नारी है जग जननी है लक्ष्मी, जन-जन जीवन की संगिनी। बहना है भाई की ताकत, इज़्ज़त का गहना है। ब्रह्माण्ड निर्माण की आधार, बिन…

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कैसा हो अपना व्यवहार

राजू महतो ‘राजूराज झारखण्डी’ धनबाद (झारखण्ड)  ************************************************************************** आया मन में एक विचार, कैसा हो अपना व्यवहार ? सर्वत्र हो बस प्यार ही प्यार, याद रखे हमे यह संसार। ऐसा ही…

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जन कर्फ्यू अपनाएं

गंगाप्रसाद पांडे ‘भावुक’ भंगवा(उत्तरप्रदेश) **************************************************************** तुम अपने घर नमाज पढ़ो, हम घर में करें आराधना। जीवन चक्र है बारह घण्टे, स्वतः मर जाएगा 'कोरोना॥' मोदी जन कर्फ्यू अभियान, वैज्ञानिकता का…

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आया है ‘कोरोना’

डॉ.धारा बल्लभ पाण्डेय’आलोक’ अल्मोड़ा(उत्तराखंड) ***************************************************************************** आया है 'कोरोना', अपनी रक्षा के लिए डरो ना। यह चीन के वुहाना से प्रकट होकर आया है, एक-दूसरे के संपर्क में आने से विश्व…

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बोलो क्यों मुझको मार दिया ?

अवधेश कुमार मिश्र ‘रजत’ वाराणसी(उत्तरप्रदेश) **************************************************************************** सात वर्ष और चार माह से जिसकी उसे प्रतीक्षा थी, न्याय व्यवस्था की खातिर भी ये तो अग्नि परीक्षा थी। दुष्ट भेड़ियों की फाँसी…

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कोरोना

वाणी बरठाकुर ‘विभा’ तेजपुर(असम) ************************************************************* मुझे विश्व में अब सभी पहचानते, मेरे ही डर से सभी मुँह ढक कर फिरतेl मैं छिपी थी चीन के वुहान में, अवसर देख निकल…

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हस्ती दीप-सी मेरी

अमल श्रीवास्तव  बिलासपुर(छत्तीसगढ़) ********************************************************************* न चाहूं सेज फूलों की, सदा काँटों पे ही चलता। है हस्ती दीप-सी मेरी, तिमिर से ही सदा लड़ता। नहीं डरता कहानी सुन, कलुश,कंटक,कुहासों की। हमेशा…

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