दिल अपना दोस्ताना रख

कैलाश भावसार  बड़ौद (मध्यप्रदेश) ************************************************* दिल अपना दोस्ताना रख, दोस्तों से मिलना-मिलाना रख। यूँ ही नहीं कोई बन जाता अपना, दिल में किसी के ठिकाना रख। जहाज के पंछी को…

0 Comments

देवी बना दें हम

सुरेश जजावरा ‘सुरेश सरल’ छिंदवाड़ा(मध्यप्रदेश) ****************************************************** नदी को माँ कहें बहना कहें,बेटी बना दें हम। बहुत प्यासी बहन मेरी,इसे पानी पिला दें हम। बने भागीरथी शिव की,जटाओं से बहे गंगा,…

0 Comments

झूठे सपने हैं सब

इंदु भूषण बाली ‘परवाज़ मनावरी’ ज्यौड़ियां(जम्मू कश्मीर) ******************************************************** कहने को अपने हैं सब। मगर झूठे सपने हैं सब। मन मंदिर है मेरा अपना, विरोधी घंटे बजने हैं सब। पापों का…

0 Comments

नफरतों को हटा दीजिए

अब्दुल हमीद इदरीसी ‘हमीद कानपुरी’ कानपुर(उत्तर प्रदेश) ***************************************************** पेड़ हर मोड़ पर इक लगा दीजिए। कुछ धरा का प्रदूषण घटा दीजिये। और कुछ खूबसूरत बना दीजिए। नफरतों को वतन से…

0 Comments

था भरोसा मगर सब धुंआ हो गया…

वकील कुशवाहा आकाश महेशपुरी कुशीनगर(उत्तर प्रदेश) ****************************************************************** था भरोसा मगर सब धुंआ हो गया। नाम जिसका वफ़ा बेवफा हो गया। सिर्फ मतदान करके जरा सोचिए, फर्ज क्या आपका है अदा हो…

0 Comments

दिल में आते-जाते रहिए

सलिल सरोज नौलागढ़ (बिहार) ******************************************************************** इश्क़ का भ्रम यूँ बनाते रहिए, इस दिल में आते-जाते रहिएl आप ही मेरी नज़्मों की जाँ थी, ये चर्चा भी सरे आम सुनते रहिएl…

0 Comments

जवां हो प्यार नित अपना

अवधेश कुमार ‘आशुतोष’ खगड़िया (बिहार) **************************************************************************** चलो खेलो पिया होली,बना लो रंग पानी का, लगा दो रंग गालों पर,मजा ले लो जवानी काl महक फैली हुई चहुँदिस,यहाँ मधुमास का देखो,…

0 Comments

हमको न आज़माना

अकबर खान 'शाद उदयपुरी'  उदयपुर(राजस्थान) ***********************************************************  (रचना शिल्प:ग़ैर-मुदर्रफ़ ग़ज़ल-बिना रदीफ़ की) तुम लाख दूर जाओ मगर कुछ भी नहीं होना, हम दोनों साथ रहने की ख़ातिर हुए हैं पैदा। हसरत नहीं…

0 Comments

पीड़ा

इंदु भूषण बाली ‘परवाज़ मनावरी’ ज्यौड़ियां(जम्मू कश्मीर) ******************************************************** जो कहा उस ओर क्यों बढ़ा ही नहीं। जो लिखा पत्र तुम्हें वो पढ़ा ही नहीं॥ मेरा जीवन एक निष्पक्ष कड़ा संघर्ष,…

0 Comments

भीगे तन-मन

दौलतराम प्रजापति ‘दौलत’ विदिशा( मध्यप्रदेश) ******************************************** हँसी-ठिठोली प्यारी बोली। आओ मिलकर खेलें होली। प्यार मोहब्बत सदभावों से, रंगों जैसी बने रंगोली। पिचकारी की पड़ें फुहारें, भीगे तन-मन दामन चोली। फ़ाग गली…

0 Comments