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चलो,आज कुछ अच्छा करते हैं…

डॉ.पूर्णिमा मंडलोई
इंदौर(मध्यप्रदेश)

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सुबह जल्दी उठकर,
ठंडी हवा में सैर करके
थोड़ा व्यायाम करते हैं।
अब ध्यान करके,
कुछ सकारात्मक सोच के साथ
रोगों से लड़ने की क्षमता बढ़ाते हैं,
चलो,आज कुछ अच्छा करते हैं।

सबकी पसंद के,
व्यंजन बना कर
कुछ नमकीन,
कुछ मीठा बनाकर
सबको स्वादिष्ट भोजन कराते हैं।
चलो,आज कुछ अच्छा करते हैं…

अलमारी को खोलकर,
बहुत देर तक सोच कर
अच्छी-सी ड्रेस निकाल कर,
तैयार होकर आईने में
स्वयं को देख कर,
हम खुद खुश होते हैं।
चलो,आज कुछ अच्छा करते हैं…

अब नियमों का पालन,
स्वेच्छा से करते हुए
हम सब सफाई से रहते हैं,
जीवन जीने की योजना बनाकर
सबको जागरुक करते हैं।
चलो,आज कुछ अच्छा करते हैं…

कल की चिंता ना कर,
आज को यादगार बनाकर
घर में सबके साथ,
समय बिता कर
यादों को सहेज कर,
हम-तुम साथ साथ रहते हैं।
चलो आज कुछ अच्छा करते हैं…

आज ही नहीं,
हम कल भी होंगे
इस समय को जिन्दगी का,
बोनस समझ कर
आनंद से जीते हैं॥
ईश्वर का धन्यवाद करते हैं,
चलो,आज कुछ अच्छा करते हैं॥

परिचय–डॉ.पूर्णिमा मण्डलोई का जन्म १० जून १९६७ को हुआ है। आपने एम.एस.सी.(प्राणी शास्त्र),एम.ए.(हिन्दी), एम.एड. करने के बाद पी.एच-डी. की उपाधि(शिक्षा) प्राप्त की है। वर्तमान में डॉ.मण्डलोई मध्यप्रदेश के इंदौर स्थित सुखलिया में निवासरत हैं। आपने १९९२ से शिक्षा विभाग में व्याख्याता के पद पर लगातार अध्यापन कार्य करते हुए विद्यार्थियों को पाठय सहगामी गतिविधियों में मार्गदर्शन देकर राज्य एवं राष्ट्रीय स्तर पर सफलता दिलाई है। विज्ञान विषय पर अनेक कार्यशाला-प्रतियोगिताओं में सहभागिता करके पुरस्कार प्राप्त किए हैं। २०१० में राज्य विज्ञान शिक्षा संस्थान(जबलपुर) एवं मध्यप्रदेश विज्ञान परिषद(भोपाल) द्वारा विज्ञान नवाचार पुरस्कार एवं २५ हजार की राशि से आपको सम्मानित किया गया हैl वर्तमान में आप जिला शिक्षा केन्द्र में प्रतिनियुक्ति पर सहायक परियोजना समन्वयक के रुप में सेवाएं दे रही हैंl कई वर्ष से लेखन कार्य के चलते विद्यालय सहित अन्य तथा शोध संबधी पत्र-पत्रिकाओं में लेख एवं कविता प्रकाशित हो रहे हैं। आपकी लेखनी का उद्देश्य अपने लेखन कार्य से समाज में जन-जन तक अपनी बात को पहुंचाकर परिवर्तन लाना है।

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